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Gaganyaan Mission के पहले टेस्ट की तारीख आई सामने, 2024 में इंसानों को दिखाकर लाएगा अंतरिक्ष

ISRO Gaganyaan Mission: इसरो के नए प्रोजेक्ट गगनयान मिशन की पहली टेस्ट फ्लाइट की तारीख सामने आ गई है। ​​​​साइंस एंड टेक्नोलॉजी मिनिस्टर जितेंद्र सिंह ने इसकी जानकारी दी।

ISRO Gaganyaan Mission
ISRO Gaganyaan Mission Latest Update: भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) चंद्रयान की सफलता के बाद एक और प्रोजेक्ट लॉन्च करने की तैयारी में जुटा है, जिसका नाम है गगनयान मिशन...इसके जरिए इसरो इंसानों को अंतरिक्ष की सैर कराएगा। साल 2024 में गगनयान में इंसानों को अंतरिक्ष में भेजने का टारगेट है। इससे पहले गगनयान की टेस्टिंग होगी, जिसकी तारीख सामने आ गई है। इसरो 21 अक्टूबर को गगनयान मिशन की पहली टेस्ट फ्लाइट भेजेगा। ​​​​साइंस एंड टेक्नोलॉजी मिनिस्टर जितेंद्र सिंह ने इसकी जानकारी दी। यह भी पढ़ें: Urfi Javed Birthday: ‘बेहोश होने तक पीटते थे…’, जब अपने पिता को लेकर Urfi Javed का छलका था दर्द

21 को टेस्ट के बाद 3 और टेस्ट किए जाएंगे

उन्होंने बताया कि टेस्ट व्हीकल डेवलपमेंट फ्लाइट (TV-D1) को आंध्र प्रदेश में श्रीहरिकोटा के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से लॉन्च किया जाएगा। इसके बाद 3 और टेस्ट डी-2, डी-3, डी-4 किए जाएंगे। टेस्ट के तहत क्रू मॉड्यूल को आउटर स्पेस में लॉन्च किया जाएगा। फिर उसे धरती पर वापस लाकर बंगाल की खाड़ी में उतारा जाएगा। क्रू मॉड्यूल को रिकवर करने के लिए नेवी ने मॉक ऑपरेशन शुरू कर दिए हैं। क्रू मॉड्यूल के अलावा TV-D1 क्रू एस्केप सिस्टम की भी गहराई से टेस्टिंग करेगा। यह भी पढ़ें: NASA ने दिखाई ‘Ring Of Fire’ की खूबसूरत तस्वीरें, जानें कितनी देर तक रहा साल का आखिरी सूर्य ग्रहण

अब से पहले 3 देश भेज चुके ऐसा मिशन

साइंस एंड टेक्नोलॉजी मिनिस्टर जितेंद्र सिंह ने बताया कि टेस्टिंग में कोई इंसान नहीं जाएगा। वहीं अगर भारत अपने इस मिशन में कामयाब हुआ तो वह ऐसा करने वाला दुनिया का चौथा देश बन जाएगा। अब से पहले अमेरिका, चीन और रूस ऐसा मिशन लॉन्च करके सफल हो चुके हैं। 12 अप्रैल 1961 को सोवियत रूस के यूरी गागरिन 108 मिनट स्पेस में रहे। 5 मई 1961 को अमेरिका के एलन शेफर्ड 15 मिनट स्पेस में रहे। 15 अक्टूबर 2003 को चीन के यांग लिवेड 21 घंटे स्पेस में रहे। यह भी पढ़ें: Ali Fazal Birthday: जब बिना अंगूठी के ही Richa को प्रपोज करने पहुंच गए थे ‘गुड्डू पंडित’, इन फिल्मों से कमाया नाम

मिशन के लिए तैयार हो रहे 4 एस्ट्रोनॉट्स

बता दें कि 2018 में स्वतंत्रता दिवस के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने भाषण में इस मिशन की घोषणा की थी, जिसे 2022 तक पूरा किया जाना था, लेकिन कोरोना काल के कारण ऐसा संभव नहीं हो पाया। अब इसे 2024 के आखिर तक या 2025 की शुरुआत में पूरा करने का लक्ष्य है। इसरो इस मिशन के लिए 4 एस्ट्रोनॉट्स को प्रशिक्षित कर रहा हे। इसके लिए बैंगलुरु में एस्ट्रोनॉट ट्रेनिंग फैसिलिटी में क्लासरूम ट्रेनिंग, फिजिकल फिटनेस ट्रेनिंग, सिम्युलेटर ट्रेनिंग और फ्लाइट सूट ट्रेनिंग दी जा रही है।


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