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लैपटॉप-टैबलेट और कंप्यूटर अब नहीं होंगे आयात, जानें क्यों मोदी सरकार ने लिया फैसला, क्या होगा असर?

Ban On import Of computers and laptops: केंद्र की मोदी सरकार ने गुरुवार को इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स को लेकर एक बड़ा फैसला लिया। सरकार ने लैपटॉप-कंप्यूटर के आयात पर बैन लगा दिया है। ये बैन HSN 8471 के तहत सात श्रेणियों के गैजेट्स पर लगाए गए हैं। इसमें अल्ट्रा स्मॉल फॉर्म फैक्टर वाले कंप्यूटर और सर्वर […]

Laptop
Ban On import Of computers and laptops: केंद्र की मोदी सरकार ने गुरुवार को इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स को लेकर एक बड़ा फैसला लिया। सरकार ने लैपटॉप-कंप्यूटर के आयात पर बैन लगा दिया है। ये बैन HSN 8471 के तहत सात श्रेणियों के गैजेट्स पर लगाए गए हैं। इसमें अल्ट्रा स्मॉल फॉर्म फैक्टर वाले कंप्यूटर और सर्वर भी शामिल हैं। इस संबंध में वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय ने नोटिफिकेशन जारी कर दिया गया है। अब इन सामानों के आयात के लिए वैध लाइसेंस लेना पड़ेगा। केंद्र सरकार ने यह कदम मेक इन इंडिया को बढ़ावा देने के लिए उठाया है। इससे चीन को बड़ा झटका लग सकता है। चीन इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स का एक बड़ा सेंटर है। तमाम बड़ी कंपनियां चीन से सामान मंगाती हैं। हालांकि जानकारों का मानना है कि अब आयात किए जाने वाले कंप्यूटर-लैपटॉप के दाम बढ़ सकते हैं। [caption id="attachment_293308" align="alignnone" ] Indian government Order[/caption]

क्या है HSN कोड 8471?

HSN का पूरा नाम हार्मोनाइज्ड सिस्टम ऑफ नॉमेनक्लेचर है। इसका इस्तेमाल डेटा प्रोसेसिंग मशीनों को वर्गीकृत करने के लिए किया जाता है। इस कोड के जरिए उन उपकरणों की पहचान की जाती है जिनका निर्माण डेटा प्रोसेसिंग कार्य के लिए डिजाइन किया गया है।   और पढ़ें - खालिस्तानी समर्थकों ने सैन फ्रांसिस्को में भारतीय दूतावास में लगाई आग, 5 महीने में दूसरा हमला  

क्यों लगाए गए प्रतिबंध?

आईटी हार्डवेयर के लिए हाल ही में नवीनीकृत उत्पादन-लिंक्ड प्रोत्साहन (Production Linked Incentive) योजना के तहत कंप्यूटर-लैपटॉप समेत अन्य गैजेट्स के घरेलू निर्माण को बढ़ावा देने के लिए यह प्रतिबंध लगाया गया है। इस स्कीम के लिए आवेदन करने की आखिरी तारीख 30 अगस्त है। दूसरा कारण सुरक्षा है। सरकार चाहती है कि कुछ हार्डवेयर में संभावित रूप से सुरक्षा संबंधी समस्याएं हो सकती हैं और संवेदनशील और व्यक्तिगत डेटा से समझौता हो सकता है।

क्या प्रभाव पड़ेगा?

सरकार के इस कदम से भारतीय कंपनियों को मुनाफा होगा। हां, उन कंपनियों पर जरुर असर पड़ेगा जो भारत के बाहर से अपने प्रॉडक्ट्स का थोक आयात करती हैं। Apple जैसी कंपनियों को या तो भारत में आकर निर्माण शुरू करना पड़ेगा या उनकी दुकानें यहां बंद हो जाएंगी। यही नियम लेनोवो, एचपी, आसुस, एसर, सैमसंग जैसे अन्य पीसी निर्माताओं पर भी लागू होगा। इससे भारतीय बाजार में मौजूदा लैपटॉप, कंप्यूटर, मैकबुक और मैक मिनी की कीमत में बढ़ोतरी होने की संभावना है। भारत में बिकने वाले अधिकांश लैपटॉप और पर्सनल कंप्यूटर चीन में निर्मित या असेंबल किए जाते हैं। नए नियम से सरकार की योजना ये सब भारत में शिफ्ट करने की है। कंपनियां भारत में लैपटॉप लाने के लिए विशेष परमिट के लिए आवेदन कर सकती हैं और प्राप्त कर सकती हैं। यह भी पढ़ें: Sabse Bada Sawal: टमाटर दिखा रहा आंखें, हुजूर जरा इधर भी झांकें!


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