Figs Benefits: खानपान अगर अच्छा हो तो सेहत भी अच्छी रहती है. वहीं, खराब खानपान सेहत को भी खराब कर देता है. जब अच्छी डाइट की बात होती है तो अक्सर ही लोग सेब, केला या पालक-मूली से आगे बढ़ते ही नहीं हैं. जबकि ऐसे कई फल और ड्राइड फ्रूट्स हैं जिन्हें अगर रोजाना एक भी खा लिया जाए तो सेहत पर कमाल के फायदे मिलते हैं. ऐसा ही एक फायदेमंद फल और सुखाकर खाए जाने वाला फल है अंजीर. अंजीर (Anjeer) फाइबर, विटामिन और खनिजों से भरपूर होता है. इसमें पौटेशियम, आयरन, कैल्शियम और मैग्नीशियम की भरपूर मात्रा पाई जाती है. ऐसे में आयुर्वेदिक एक्सपर्ट आचार्य बालकृष्ण (Acharya Balkrishna) बता रहे हैं अंजीर खाने पर शरीर को क्या फायदे मिलते हैं, इसे खाने पर कौन सी बीमारियां दूर रहती हैं और अंजीर को किस तरह खाया जा सकता है. यहां जानिए अंजीर खाने से सेहत पर क्या असर होता है.
आचार्य बालकृष्ण ने बताए अंजीर खाने के फायदे
आचार्य बालकृष्ण का कहना है कि आयुर्वेद में अंजीर को बेहद फायदेमंद माना जाता है. यह शक्तिवर्धक है और बेहद पोष्टिक होता है. जो लोग दुबले-पतले हैं या कमजोर हैं उनके लिए अंजीर लाभकारी साबित होता है.
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शारीरिक दुर्बलता दूर करने के लिए कैसे खाएं अंजीर
- 3-4 सूखे अंजीर को रात के समय पानी में भिगो दें. सुबह इस अंजीर को धीरे-धीरे चबाकर खाएं.
- ताजा अंजीर भी खाया जा सकता है. ताजा अंजीर को बिना भिगोए सुबह के नाश्ते में अन्य फलों के साथ या फिर अंकुरित दाल या चने के साथ इसे खाया जा सकता है.
- आचार्य बालकृष्ण का कहना है कि शारीरिक, स्नायु व यौन दुर्बलता में अंजीर का प्रयोग लाभकारी होता है. रात के समय 3 से 4 अंजीर को दूध में उबालकर कुछ दिन इसका सेवन किया जा सकता है.
दिल की दिक्कतें भी होती हैं दूर
आचार्य बालकृष्ण ने बताया कि अंजीर खाने पर दिल के मरीजों को भी फायदा मिलता है. अंजीर से लो ब्लड प्रेशर (Low Blood Pressure) के मरीजों की दिक्कत दूर होती है. दिल की सेहत दुरुस्त रखने के लिए आचार्य दूध के साथ सूखा अंजीर खाने की सलाह देते हैं.
पेट के लिए भी है लाभकारी
अंजीर को पेट की सेहत अच्छी रखने के लिए भी खाया जा सकता है. आमतौर पर अंजीर को गर्म कहा जाता है लेकिन आयुर्वेद में अंजीर की तासीर शीतल बताई जाती है. अगर अंजीर को बिना पानी में भिगोकर (Soaked Anjeer) खाया जाए तो यह शरीर में गर्मी पैदा कर सकता है लेकिन अगर अंजीर को भिगोकर खाएं तो इसके इफेक्ट्स ठंडे होते हैं. आचार्य बालकृष्ण बताते हैं कि 4 से 5 अंजीर को भिगोने पर अंजीर फूल जाता है.
लिवर और अनीमिया के रोगियों के लिए
अंजीर का सेवन लिवर के रोगियों के लिए भी अच्छा है. जिन लोगों को अनीमिया है या शरीर में हीमोग्लोबिन कम है उन्हें भी अंजीर का सेवन करने पर फायदा मिलता है.
खांसी में पिएं अंजीर का काढ़ा
खांसी की दिक्कत दूर करने के लिए अंजीर का काढ़ा (Anjeer Kadha) बनाकर पिया जा सकता है. काढ़ा बनाने के लिए एक सूखा अंजीर, थोड़ी सी मुलेठी और 3 से 4 तुलसी के पत्ते लेकर पानी में डालकर एकसाथ पका लें. यह काढ़ा गले को आराम देता है और खांसी को दूर कर देता है. आचार्य बालकृष्ण का कहना है कि बच्चे, बड़े या बूढ़ों को यह काढ़ा पिलाया जा सकता है.
श्वसन की दिक्कतें दूर होती हैं
आचार्य बालकृष्ण बताते हैं कि श्वसन संबंधी दिक्कतों में आमतौर पर सूखे मेवे नहीं खाए जाते हैं. ऐसे में सांस की दिक्कतों से परेशान लोग अंजीर का सेवन कर सकते हैं.
जोड़ों के दर्द में लाभकारी
अंजीर ही नहीं बल्कि इसके पत्तों का इस्तेमाल भी बेहद फायदेमंद होता है. अंजीर के पत्तों को पीसकर जोड़ों पर लगाने से जोड़ों का दर्द दूर हो सकता है.
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अस्वीकरण - इस खबर को सामान्य जानकारी के तौर पर लिखा गया है. अधिक जानकारी के लिए विशेषज्ञ की सलाह लें या चिकित्सक से परामर्श करें. न्यूज24 किसी तरह का दावा नहीं करता है.