Exit Poll State Anyalsis: पांच राज्यों के नतीजों का ट्रेलर लॉन्च, पूरी पिक्चर दो दिन बाद-किसके सिर ताज तो किस पर गाज
नई दिल्ली : 2023 के मोस्ट अवेटिड पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव के खत्म होते ही अब नतीजों की सुगबुगाहट तेज हो गई है। फाइनल नतीजे 3 दिसंबर को आएंगे, लेकिन उससे पहले एग्जिट पोल के आंकड़ों के तौर पर नतीजों का ट्रेलर सामने आ चुका है। देश के तमाम चैनल्स के एग्जिट पोल के आंकड़े किसी के लिए उम्मीद और किसी के लिए नाउम्मीद लेकर आए हैं, लेकिन पार्टियों को इंतजार है फाइनल नतीजों का।
मध्य प्रदेश का 'महापोल'
हिंदी बेल्ट का यह बड़ा राज्य है, जहां कांग्रेस और बीजेपी के बीच कांटे की टक्कर मानी जा रही है। एक तरफ शिवराज सिंह चौहान की 18 साल की सियासी साख दांव पर है तो वहीं कांग्रेस के पास पिछले चुनावों में जीत के बाद भी सत्ता गंवाने की टीस है। ऐसे में मध्य प्रदेश के चुनावी नतीजों पर पूरे देश की नजरें टिकी हैं। मध्य प्रदेश की 230 विधानसभा सीटों में बहुमत का आंकड़ा 116 है। हिंदुस्तान का दिल कहे जाने वाले मध्य प्रदेश की जनता के दिलों में बसने के लिए बीजेपी और कांग्रेस दोनों पार्टियों ने वादों और दावों की झड़ी लगा दी थी। एक तरफ शिवराज सरकार ने लाडली बहना योजना के सहारे जनता तक पहुंचने की कोशिश की तो वहीं कमलनाथ ने कांग्रेस की गारंटियों के जरिए बड़े बड़े दावे किए। हालांकि एग्जिट पोल के नतीजे बीजेपी को खुशी देने वाले हैं और कांग्रेस के लिए इस बार सत्ता दूर नजर आ रही है, लेकिन सच्चाई ये भी है कि ये मजह एक अनुमान हैं।
यह भी पढ़ें: एग्जिट पोल के बाद कांग्रेस कार्यकर्ताओं से बोले कमलनाथ, ‘देश विजन से चलता है टेलीविजन से नहीं’
छत्तीसगढ़ का 'महापोल': कहीं भाजपा को नुकसान न हो जाए
मध्य प्रदेश के साथ-साथ छत्तीसगढ़ के चुनावी नतीजों पर भी पूरे देश की नजर है। छत्तीसगढ़ में बीजेपी ने मोदी के नाम पर चुनाव लड़ा। आदिवासियों और पिछड़ों पर फोकस किया, वहीं कांग्रेस ने भूपेश बघेल के काम और राहुल-प्रियंका के चेहरे सहारे चुनावी प्रचार किया अब जब नतीजों के ट्रेलर सामने आने के बाद कांग्रेस खेमे में दोबारा पांच साल सत्ता में बने रहने की उम्मीद जगी है। छत्तीसगढ़ की 90 विधानसभा सीटों के लिए बहुमत की रेखा 46 है।
अब एग्जिट पोल्स पर नजर डालें तो राज्य में भारतीय जनता पार्टी का रमन सिंह के चेहरे को आगे नहीं करना नुकसान का सौदा बन रहा है और जनता ने कांग्रेस को अपना मत दिया है, लेकिन छत्तीसगढ़ में कांग्रेस के लिए भी राह आसान नहीं है। छत्तीसगढ़ में कांग्रेस के अंदर कलह बड़ी मुसीबत बना हुआ था। 3 दिसंबर के नतीजों में अगर एग्जिट पोल सही साबित होते हैं तो छत्तीसगढ़ में भूपेश बघेल और टीएस सिंह देव के बीच का घमासान कांग्रेस के लिए बड़ी मुसीबत बन सकता है, लेकिन फिलहाल हर पार्टी रिजल्ट डे का इंतजार कर रही हैं और एग्जिट पोल के परिणाम सामने आने के बाद सभी पार्टियां अपनी अपनी रणनीति बनाने में जुट गई हैं।
यह भी पढ़ें: एग्जिट पोल के रिजल्ट के बाद रमन सिंह ने कहा- बीजेपी ने लगाई छलांग, सीएम बघेल बोले- कांग्रेस जीत रही
राजस्थान में निर्दलीयों की भूमिका अहम
राजस्थान के एग्जिट पोल के नतीजे दुविधा में डालने वाले हैं। अलग-अलग एजेंसियों के अनुमानों में बीजेपी और कांग्रेस के बीच कड़ी टक्कर देखने को मिल रही है। राजस्थान में इस बार 200 विधानसभा सीटों में से 199 पर मतदान हुआ और बहुमत के लिए किसी भी पार्टी को 100 सीटों की जरूरत है। राजस्थान हर पांच साल में सत्ता बदलने परिवर्तन का रिकॉर्ड रखने वाले राजस्थान के एग्जिट पोल पर नजर डालें तो इन तमाम आंकड़ों में बीजेपी और कांग्रेस के अलावा निर्दलीय और क्षेत्रीय पार्टियां भी सरकार बनाने के लिए निर्णायक भूमिका में आती दिख रही हैं।
क्या भाजपा का अंतिम पैंतरा होगा कामयाब
हालांकि राजस्थान में गहलोत सरकार ने दिल खोलकर चुनावी योजनाओं का पिटारा खोल दिया था। कांग्रेस पार्टी ने भी राजस्थान में गहलोत के चेहरे के दम पर चुनावी रणनीति तैयार की। चुनावों से ऐन पहले कांग्रेस राजस्थान में गहलोत और सचिन पायलट के बीच के तनाव को भी कंट्रोल करने में कामयाब रही, लेकिन वहीं राजस्थान में भी बीजेपी ने प्रधानमंत्री मोदी के चेहरे और शाह नड्डा की रणनीति के दम पर चुनावी कैंपेनिंग को अंजाम दिया। शुरुआती दौर में बीजेपी ने वसुंधरा राजे को साइड लाइन करने की भी कोशिश की, लेकिन टिकट बंटवारे के दौर में वसुंधरा को मेन स्ट्रीम में लाया गया और अब जब नतीजों का ट्रेलर सामने है तो कौन सी पार्टी राजस्थान का किला फतह कर रही है कहना मुश्किल हो रहा है। बहरहाल, तमाम पार्टियों के साथ साथ राजनैतिक दिग्गजों को भी 3 दिसंबर का बेसब्री से इंतजार है।
यह भी पढ़ें: Exit Poll में राजस्थान का रिवाज कायम रहने के संकेत, पर इन 10 हॉट सीटों पर कांग्रेस और भाजपा में है कांटे की टक्कर
तेलंगाना में हो सकती है कांग्रेस की वापसी
तेलंगाना में गुरुवार को मतदान के बाद कुल 2290 उम्मीदवारों की किस्मत ईवीएम में बंद हो चुकी है। यहां 119 विधानसभा सीटों में से 19 अनुसूचित जाति और 12 अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं। चुनाव खत्म होने के बाद अलग-अलग एजेंसियों के एग्जिट पोल जारी किए हैं। एग्जिट पोल में अनुमान लगाया गया है कि राज्य में के. चंद्रशेखर राव की बीआरएस का किला ढह सकता है। यहां कांग्रेस बहुमत के साथ सत्ता में आ सकती है।
तेलंगाना विधानसभा की 119 सीटों के लिए बहुमत का आंकड़ा 60 है। एग्जिट पोल के नतीजों को देखें तो तेलंगाना में कांग्रेस ने अपनी गारंटियों के दम पर जीत का बड़ा दावा किया था। वहीं बीजेपी ने भी दक्षिण भारत में अपनी पकड़ को मजबूत करने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी। दोनों पार्टियों ने ध्रुविकरण की राजनीति करते हुए मुस्लिम और हिंदू वोटों को अपने पाले में लाने का भरपूर कोशिश की, वहीं तेलंगाना में ओवैसी फैक्टर भी सुर्खियों में रहा। असदुद्दीन ओवैसी की AIMIM ने 9 सीटों से अपना दम दिखाया और बीआरएस को वोट देने की अपील की, लेकिन एग्जिट पोल के आंकड़े राज्य में कांग्रेस की वापसी का ऐलान कर रहे हैं और दूसरे राज्यों की तरह तेलंगाना में भी सभी दलों को 3 दिसंबर को आने वाले फाइनल नतीजों का इंतजार है।
जानें-तेलंगाना में कांग्रेस की सरकार बनने पर क्या होगा सबसे पहला काम? प्रदेशाध्यक्ष ने किया बड़ा दावा
मिजोरम का 'महापोल'
मिजोरम में एक तरफ तो MNF का पूरा जोर इतिहास दोहराने पर है तो वहीं कांग्रेस भी पांच साल बाद सत्ता में वापसी के लिए पूरा जोर लगाया है। अब काउंटिंग के दिन नजारा कैसा रहने वाला है। इसकी झलक चुनावी एग्जिट पोल में नजर आई है।
Get Breaking News First and Latest Updates from India and around the world
on News24. Follow News24 and Download our - News24
Android App. Follow News24 on Facebook, Telegram, Google
News.