इंदौर की जिला अदालत में पक्षकार द्वारा जज को जूते की माला पहनाने की कोशिश करने का सनसनीखेज मामला सामने आया है। यहां मजिस्ट्रेट द्वारा दिए गए फैसले से नाराज होकर पक्षकार ने यह हरकत कर डाली। घटना के बाद कोर्ट में वकीलों ने उसकी कपड़े फटने तक पिटाई की। पुलिस ने मामले में पिता-पुत्र को गिरफ्तार कर लिया है।
मामला इंदौर जिला कोर्ट की कोर्ट नंबर 40 का है। यहां 29वें जिला न्यायाधीश पर एक मामले में पक्षकार सलीम ने फैसला आते ही जूते की माला फेंक दी। दरअसल सलीम ने 12 साल पहले आजाद नगर के कोहिनूर कॉलोनी में सरकारी और उसकी निजी जमीन पर कब्जा कर मस्जिद बनाए जाने के खिलाफ केस किया था, जिसका फैसला आया था।
मस्जिद का निर्माण नियमों के खिलाफ
फैसले से नाराज होकर सलीम ने जज डांगी से बात करते हुए थैली से निकालकर जूते की माला फेंक दी। कोर्ट में सलीम अपने दिव्यांग बेटे रईस के साथ पहुंचा था। सलीम ने कहा कि एक सड़क हादसे में रईस के दोनों पैर कट गए थे, इस वजह से वह लकड़ी के पैर लगाता है। उन्होंने आगे कहा कि मस्जिद इस्लाम के नियमों के विपरीत बनाई गई है।
12 साल बाद फैसला, नहीं मिली राहत
सलीम के अनुसार सरकारी और हमारी निजी जमीन पर कब्जा कर मस्जिद बनाई गई है। इसकी शिकायत नगर निगम, कलेक्टर और अन्य सभी जिम्मेदार अधिकारियों को शिकायत भी की, लेकिन कहीं से निराकरण नहीं मिला तो कोर्ट की शरण ली। 12 साल बाद फैसला आया और उसमें भी राहत नहीं मिली तो फिर सलीम ने यह हरकत कर डाली।