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शरद पवार चुनावी राजनीति से संन्यास लेंगे! NCP अध्यक्ष ने खुद दिए संकेत, जानें क्या कहा?

Sharad Pawar Retirement Plan From Politics: शरद पवार ने राजनीति छोड़ने के संकेत दिए हैं। मीडिया से बातचीत में उन्होंनेचुनाव लड़ने से इनकार करते हुए कुछ बयान दिया है, जिसके बाद सियासी गलियारों में चर्चाओं का बाजार गरम है। आइए जानते हैं कि आखिर उन्होंने क्या कहा?

Sharad Pawar (File Photo)
Sharad Pawar May Retire from Politics: शरद पवार ने चुनावी राजनीति से संन्यास लेने के संकेत दिए हैं। बारामती दौरे के दौरान उन्होंने कहा है कि मैं कोई चुनाव नहीं लड़ना चाहता। विचार करूंगा कि राज्यसभा में भी जाना है या नहीं। नई पीढ़ी को सामने लाना चाहिए। नए लोगों को चुनकर राजनीति को देना चाहिए। मैं यह बताना चाहता हूं कि मैं अब सरकार में नहीं हूं। मेरे राज्यसभा के कार्यकाल का डेढ़ साल अभी बाकी है। इसके बाद राज्यसभा में जाना है या नहीं, इस बारे में मुझे विचार करने की जरूरत है। 14 चुनाव लड़ चुका हूं, अब कोई चुनाव नहीं लड़ूंगा। मुझे अब विधायक नहीं बनना, सांसद नहीं बनना। मुझे लोगों के सवाल हल करने हैं। अगर हमारे विचारों की सरकार आती है तो सरकार के पीछे हम मजबूती से खड़े रहेंगे। बता दें कि 84 साल के शरद पवार ने यह बयान ऐसे समय में दिया है, जब महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव 2024 की सरगर्मियां हैं। यह भी पढ़ें:कोलकाता रेप-मर्डर केस की चार्जशीट में 5 बड़े खुलासे, जानें CBI ने क्या कहा? अजित पवार को दिया था करारा जवाब बता दें कि शरद पवार के 84 साल की उम्र में भी राजनीति में सक्रिय रहने पर अकसर सवाल उठते रहे हैं। अजीत पवार तो उनकी उम्र को लेकर उन पर तंज कस चुके हैं। अजीत पवार ने कहा था कि शरद पवार को अब घर बैठना चाहिए। संन्यास ले लेना चाहिए, पता नहीं वे यह फैसला कब लेंगे? इस बयान पर पलटवार करते हुए शरद पवार ने कहा था कि अभी राज्यसभा का डेढ़ साल बाकी है। जब तक यह समय पूरा होगा, तब तक जन सेवा करता रहूंगा। वहीं अब अचानक शरद पवार के बयान ने महाराष्ट्र की सियासत में खलबली मचा दी है। यह भी पढ़ें:Video: मुस्लिम महिलाओं से मारपीट, CM योगी आदित्यनाथ के राज में फिर शर्मसार हुई इंसानियत

महाराष्ट्र में 20 नवंबर को विधानसभा चुनाव वोटिंग

बता दें कि महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव 2024 की तैयारी चल रही है। 15 दिन बाद 20 नवंबर को एक ही फेज में मतदान होगा। 288 सीटों वाली विधानसभा को नए सदस्य मिलेंगे। मतगणना 23 नवंबर को होगी। मुख्य मुकाबला सत्तारुढ़ महायुति और महाविकास आघाड़ी के बीच है। महायुति में एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना, भाजपा और अजीत पवार के नेतृत्व वाली NCP शामिल है। महाविकास आघाड़ी में उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना, कांग्रेस और शरद पवार के नेतृत्व वाली NCP शामिल है। 2019 के विधानसभा चुनाव के बाद प्रदेश में 2 बार सरकार बन चुकी है। 5 साल में 2 दलों का बंटवारा हो चुका है। इस बार देखना यह है कि बाजी कौन मारेगा?‌ यह भी पढ़ें:नवजोत सिद्धू क्या BJP जॉइन करेंगे? पत्नी-बेटी की इस नेता से मुलाकात ने दिए संकेत


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