जम्मू कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ ऑपरेशन सिंदूर चलाया और आतंकी ठिकानों को ध्वस्त कर दिया। पाकिस्तान को ऑपरेशन सिंदूर के बारे में कब बताया? इसे लेकर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने स्थिति साफ कर दी। साथ ही चीन, पाकिस्तान और अफगानिस्तान के त्रिपक्षीय समझौते पर एमईए ने जवाब दिया।
ऑपरेशन सिंदूर को लेकर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने गुरुवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि पहले हमने पाकिस्तान में स्थित आतंकियों को मारा। उसके बाद DGMO के जरिए पाकिस्तान को ऑपरेशन सिंदूर के बारे में बताया गया, जो हमारा जवाब देने का अधिकार था। मारने के बाद हमने बताया।
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MEA ने चीन, पाकिस्तान और अफगानिस्तान की त्रिपक्षीय वार्ता पर क्या कहा?
बीजिंग में चीन, पाकिस्तान और अफगानिस्तान के विदेश मंत्रियों के बीच त्रिपक्षीय वार्ता पर MEA ने कहा कि हमने कुछ रिपोर्ट्स देखी हैं। इसके अलावा मुझे कुछ और नहीं कहना है। उन्होंने विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर की अफगानिस्तान के कार्यवाहक विदेश मंत्री के साथ बातचीत पर कहा कि हमने एक विज्ञप्ति जारी की थी। विदेश मंत्री ने पहलगाम आतंकी हमले की कड़ी निंदा करने के लिए कार्यवाहक विदेश मंत्री को धन्यवाद दिया, उन्होंने कई क्षेत्रों में द्विपक्षीय सहयोग को आगे बढ़ाने पर भी सहमति जताई। विदेश मंत्री ने झूठी और निराधार रिपोर्टों के माध्यम से भारत और अफगानिस्तान के बीच अविश्वास पैदा करने के हाल के प्रयासों को दृढ़ता से खारिज करने का भी स्वागत किया।
डोनाल्ड ट्रंप पर क्या बोला विदेश मंत्रालय?
MEA ने कहा कि अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बारे में हम पहले ही बोल चुके हैं। हमारी स्पष्ट लाइन है कि भारत और पाक के बीच कोई मामला द्वीपक्षीय होगा। बातचीत और आतंकवाद एक साथ नहीं चल सकते। आतंकवाद के मामले में हम उन कुख्यात आतंकवादियों को भारत को सौंपने पर चर्चा करने के लिए तैयार हैं, जिनकी सूची कुछ साल पहले पाकिस्तान को दी गई थी। मैं इस बात पर जोर देना चाहूंगा कि जम्मू-कश्मीर पर कोई भी द्विपक्षीय चर्चा सिर्फ पाकिस्तान द्वारा अवैध रूप से कब्जा किए गए भारतीय क्षेत्र को खाली करने पर होगी।
सिंधु जल समझौता कब तक रहेगा स्थगित? MEA ने बताया
उन्होंने सिंधु जल समझौते पर कहा कि यह संधि तबतक स्थगित रहेगी जब तक पाकिस्तान आतंक का रास्ता नहीं छोड़ता। जैसा कि प्रधानमंत्री ने कहा कि पानी और खून एक साथ नहीं बह सकते। एमईए ने आगे कहा कि भारत में अवैध तरीके से रह रहे लोग चाहे वो बांग्लादेशी हो या किसी और देश के, उनके प्रति विधि सम्मत निर्वासन की कार्रवाई हो सके, इसका हम प्रयास कर रहे हैं। आंकड़ों के अनुसार भारत ने बांग्लादेश से 2369 अवैध लोगों की राष्ट्रीयता को वेरिफाई करने के लिए पूछा है और अब जवाब का इंतजार है।
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रणधीर जायसवाल ने आगे कहा कि सांसदों के 7 डेलिगेशन हैं, जिनमें से 3 ग्रुप रवाना हो चुके हैं। यह एक राजनीतिक मिशन है। हम चाहते हैं कि दुनिया आतंकवाद के सभी रूपों और अभिव्यक्तियों से लड़ने के लिए एक साथ आए। हम दुनिया से आग्रह करना चाहते हैं कि वे सीमा पार आतंकवाद के लिए जिम्मेदार लोगों को जवाबदेह ठहराएं। वे पिछले 40 वर्षों से भारत के खिलाफ़ इसे अंजाम दे रहे हैं, यानी पाकिस्तान। उनके कार्यों को उजागर करने की आवश्यकता है।