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‘भगवान ने उसे छीन लिया लेकिन सरकार ने…’, जिंदगी की जंग हारी ओडिशा की बच्ची तो छलका चाचा का दर्द

ओडिशा के पुरी जिले के बलंगा में भार्गबी नदी के पास जली हालत में मिली 15 साल की बच्ची की मौत दिल्ली में इलाज के दौरान हो गई। बच्ची के साथ कथित दुर्व्यवहार और फिर उसे जलाए जाने का आरोप था। पीड़िता के परिवार ने दुख व्यक्त करते हुए किसी को दोष नहीं देने की बात कही और राजनीति से दूरी बनाए रखने की अपील की।

ओडिशा की 15 साल की मृतक बच्ची के चाचा (फोटो सोर्स- ANI )

ओडिशा में पुरी जिले के बलंगा में भार्गबी नदी के किनारे 15 साल की बच्ची जली हुई अवस्था में बरामद हुई थी। आरोप था कि बदमाशों ने बच्ची के साथ गलत व्यवहार किया और फिर उसे जला दिया। बच्ची को अस्पताल में भर्ती करवाया गया था, जहां से उसे दिल्ली लाया गया था, लेकिन अब उसकी मौत हो गई है। इस पर एक तरफ जमकर राजनीति हो रही है, तो वहीं दूसरी तरफ बच्ची के परिजन का कहना है कि उनकी बच्ची को भगवान ने छीन लिया है, हम किसी को दोष नहीं दे सकते।

समाचार एजेंसी ANI से बातचीत करते हुए 15 साल की मृतक लड़की की चचेरी बहन ने कहा कि "भगवान ने उसे हमसे छीन लिया है। अब हम किसी को दोष नहीं दे सकते। सरकार ने हमारी बहुत मदद की है। अस्पताल के डॉक्टर और पूरा स्टाफ बहुत अच्छा था। सबने अपना काम बखूबी किया। हमें किसी से कोई दिक्कत नहीं है। पिता (हिम्मत अली) डिप्रेशन में चले गए हैं। वह कुछ भी कहने की हालत में नहीं हैं। उन्हें इस हालत में देखकर मुझे बहुत तकलीफ होती है।"

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क्या बोले बच्ची के पिता?

वहीं बच्ची के पिता का कहना है कि "मैं किसी पर उंगली नहीं उठाना चाहता। सभी ने मेरी बेटी के लिए प्रार्थना की, चाहे वह किसी भी धर्म का हो। मैं किसी से नाराज नहीं हूं। मेरी बेटी मेरे भाग्य का हिस्सा नहीं थी। मैं किसी को दोष नहीं देना चाहता। मैं आपसे अनुरोध करता हूं कि कृपया मुझे और मेरे परिवार को राजनीति से दूर रखें। जब तक वह हमारे साथ घर पर थी, तब तक सब कुछ ठीक था। मुझे नहीं पता कि यह कैसे हुआ।"

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वहीं BJD के विधायक कलिकेश नारायण सिंह देव ने कहा कि "यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि बलंगा की युवती, जो इतने जघन्य अपराध की शिकार हुई थी, बच नहीं पाई। यह ओडिशा में महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराध और इस मुद्दे को सुलझाने में राजनीतिक इच्छाशक्ति की कमी को दर्शाता है। सरकार को आत्ममंथन करने और हिंसक अपराधों, खासकर महिलाओं और बच्चों के खिलाफ अपराधों पर गंभीर कार्रवाई करने की आवश्यकता है।"

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ओडिशा के मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी ने एक्स पर एक पोस्ट में लिखा, "बलंगा की घटना में पीड़िता की मौत की खबर सुनकर मुझे गहरा सदमा लगा है। सरकार के तमाम प्रयासों और एम्स दिल्ली की विशेषज्ञ चिकित्सा टीम की चौबीसों घंटे की कोशिशों के बावजूद उसकी जान नहीं बचाई जा सकी। मैं लड़की की आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना करता हूं और ईश्वर से उसके परिवार को इस अपूरणीय क्षति को सहन करने की शक्ति देने की प्रार्थना करता हूं।"


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