Jammu-Kashmir : जम्मू कश्मीर में अशांति फैलाने के लिए पाकिस्तान लगातार नापाक हरकत कर रहा है, लेकिन भारतीय सेना के जवान उनकी हरकतों को नाकाम कर दे रहे हैं। भारतीय सेना की कड़ी सुरक्षा व्यवस्था से बौखलाई पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई ने नया रास्ता अपनाया है। पाकिस्तान ने लोकसभा चुनाव से पहले खतरनाक साजिश रच रखी है। आईएसआई ने घाटी की शांति में जहर घोलने के लिए अपने पूर्व पाकिस्तानी सैनिकों को आतंकवादी बनाकर भेज रहा है। भारतीय सेना की उत्तरी कमान ने इस बात का खुलासा किया है।
जम्मू-कश्मीर के राजौरी में पिछले दिनों सुरक्षा बलों और आतंकियों के बीच मुठभेड़ हुई थी। इस गोलीबारी में भारतीय सेना के पांच जवान शहीद हो गए तो वहीं सुरक्षा बलों ने भी दो आतंकियों को मौत के घाट उतार दिया। शहीदों को श्रद्धांजलि देने पहुंचे उत्तरी कमान के सेना प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने शुक्रवार को बड़ा खुलासा करते हुए कहा कि भारत में सीमा पार आए आतंकियों में कुछ सेवानिवृत्त पाकिस्तानी सैनिक भी शामिल हैं। स्थानीय स्रोतों के माध्यम से हमें कुछ आतंकवादी ठिकानों के बारे में भी पता चला है।
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लेफ्टिनेंट जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने अपने बयान में साफ शब्दों में कहा कि पड़ोसी देश पाकिस्तान का इरादा नेक नहीं है। उनका मकसद अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव 2024 से पहले और अधिक आतंकियों का घुसपैठ करना है। इसके लिए पाकिस्तान अब अपने पूर्व सैनिकों को भी आतंकी बना रहा है और फिर उसे सीमा के रास्ते भारत में भेज रहा है। उन्होंने कहा कि राजौरी और पुंछ में अब भी 20 से 25 आतंकियों के सक्रिय होने की संभावना जताई जा रही है।
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उन्होंने कहा कि दो दहशतगर्दों की मौत से पाकिस्तान और आतंकवादी पारिस्थितिकी तंत्र को बड़ा नुकसान पहुंचा है। पाकिस्तान और अफगानिस्तान समेत कई देशों से ट्रेनिंग प्राप्त कर चुके इन दोनों आतंकियों ने घाटी में कई लोगों को अपना निशाना बनाया था, इसलिए सुरक्षा बलों की प्राथमिकता में उन दोनों का खात्मा करना था।