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रेलवे परीक्षाओं में अब मंगलसूत्र और जनेऊ उतारने की जरूरत नहीं, रेल राज्य मंत्री ने दिए बोर्ड को निर्देश

केंद्रीय रेल राज्य मंत्री वी. सोमन्ना ने धार्मिक चीजों को उतारने वाले रूल को बदलने का आदेश रेलवे भर्ती बोर्ड को दिया है।

Author Edited By : Deepti Sharma Updated: Apr 29, 2025 09:59
Indian Railway instructions
Indian Railway instructions

केंद्रीय रेल राज्य मंत्री वी सोमन्ना ने रेलवे भर्ती बोर्ड को निर्देश दिया है कि परीक्षाओं के दौरान धार्मिक प्रतीकों जैसे मंगलसूत्र, जनेऊ और कान की बालियों को उतारने की अनिवार्यता खत्म की जाए। यह फैसला उम्मीदवारों की धार्मिक भावनाओं को ध्यान में रखकर लिया गया है। भाजपा सांसद बृजेश चौटा ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर इस संबंध में जानकारी साझा की। उन्होंने रेलवे भर्ती बोर्ड के पैरामेडिकल परीक्षा के एडमिट कार्ड की तस्वीर भी पोस्ट की, जिसमें साफ तौर पर लिखा था कि उम्मीदवार धार्मिक आभूषण जैसे मंगलसूत्र और जनेऊ पहनकर परीक्षा केंद्र में प्रवेश नहीं कर सकते। इस पर प्रतिक्रिया देते हुए चौटा ने बताया कि केंद्रीय मंत्री सोमन्ना ने अधिकारियों से स्पष्ट रूप से कहा है कि छात्रों को उनकी धार्मिक पहचान से जुड़ी किसी भी वस्तु को हटाने के लिए मजबूर न किया जाए।

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कर्नाटक सरकार ने भी जताई थी आपत्ति

इस नियम पर कर्नाटक सरकार ने भी आपत्ति जताई है। राज्य के उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने बयान देते हुए कहा कि मंगलसूत्र और जनेऊ धार्मिक प्रतीक होते हैं। अगर जरूरत हो तो इनकी जांच की जा सकती है, लेकिन इन्हें उतारने के लिए कहना ठीक नहीं है।

कब आया था मामला?

कर्नाटक के बीदर जिले के साई स्पूर्थी पीयू कॉलेज में 17 अप्रैल को एक छात्र को परीक्षा में बैठने से सिर्फ इसलिए रोक दिया गया क्योंकि उसने जनेऊ उतारने से इनकार कर दिया था। यह मामला 19 अप्रैल को सामने आया, जिसके बाद इसे लेकर राज्यभर में विवाद खड़ा हो गया। मामले की गंभीरता को देखते हुए कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. चंद्रशेखर बिरादर और स्टाफ मेंबर सतीश पवार को निलंबित कर दिया गया।

इसी तरह का एक और मामला शिवमोगा जिले के एक स्कूल में सामने आया था, जहां CET का पेपर देने आए 3 छात्रों को जनेऊ उतारने के लिए कहा गया। इस घटना के बाद कर्नाटक ब्राह्मण महासभा ने इससे जुड़े अधिकारियों के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई थी।

परीक्षा केंद्र के कर्मचारियों ने जवाब देते हुए बताया कि उन्होंने किसी भी छात्र को अपनी जनेऊ उतारने के लिए मजबूर नहीं किया। उनके अनुसार परीक्षा से जुड़े नियमों के तहत उन्होंने केवल छात्रों से हाथ की कलाई पर बांधा जाने वाला पवित्र धागा होता है, वह उतारने के लिए कहा था।

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Edited By

Deepti Sharma

First published on: Apr 29, 2025 09:59 AM

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