Balasore Train Tragedy: ओडिशा ट्रेन हादसे की जांच केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने मंगलवार को आधिकारिक तौर पर अपने हाथ ले ली है। सीबीआई ने आईपीसी की चार धाराओं में केस दर्ज किया है। इससे पहले सीबीआई एक टीम घटनास्थल पर पहुंची और दस्तावेज जुटाए हैं। सीबीआई से पहले ओडिशा पुलिस ने आईपीसी और रेलवे अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया था। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने रविवार को घोषणा की थी कि दुर्घटना की सीबीआई जांच की सिफारिश की गई है।
एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि विशेषज्ञों के साथ सीबीआई की एक टीम यह पता लगाने के लिए जांच करेगी कि क्या कोरोमंडल एक्सप्रेस ट्रेन को पटरी से जानबूझकर उतारा गया। या इस दुर्घटना के पीछे कोई मानवीय चूक थी। फिलहाल टीम घटनास्थल पर डेरा डाले हुए है।
इन धाराओं में CBI ने दर्ज किया केस
धारा 337: लापरवाही के कारण मानव जीवन को खतरे में डालना
धारा 338: जीवन या दूसरों की व्यक्तिगत सुरक्षा को खतरे में डालकर गंभीर चोट पहुंचाना
धारा 304 ए: लापरवाही से किसी की मौत हो जाए।
धारा 34: सामान्य इरादे के तहत कई व्यक्तियों द्वारा किए गए कार्य
कांग्रेस ने सीबीआई जांच पर उठाए थे सवाल
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने सोमवार को सीबीआई जांच की मांग करने पर रेल मंत्री पर निशाना साधा था। खड़गे ने कहा कि कानून प्रवर्तन एजेंसी अपराधों की जांच करने के लिए है, रेल दुर्घटनाओं के लिए नहीं। आप खुद (पीएम मोदी) और रेल मंत्री वैष्णव यह स्वीकार नहीं करना चाहते कि समस्याएं हैं।
ट्रिपल ट्रेन हादसे में 278 लोगों की मौत
दरअसल, शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस शुक्रवार की शाम करीब सात बजे बालासोर जिले में एक मालगाड़ी से टकराने के बाद डिरेल हो गई। तभी बेंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस आई और डिब्बों से टकरा गई।
दोनों यात्री ट्रेनों में करीब 2500 यात्री सवार थे। इस भीषण हादसे में 278 लोगों की मौत हुई, जबकि 11 सौ से अधिक घायल हुए।
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