Kidney Damage Symptoms: गुर्दे यानी किडनी शरीर के सबसे जरूरी अंगों में से एक हैं. किडनी खून को साफ करती है और शरीर का फ्लुइड बैलेंस बनाए रखती है जिससे शरीर की गंदगी पेशाब के माध्यम से शरीर से बाहर निकल जाती है. लेकिन, किडनी पर अगर जरूरत से ज्यादा दबाव पड़ने लगे तो किडनी खराब भी हो सकती है. कई बार किडनी डैमेज परमानेंट भी होता है जो घातक साबित होता है. ऐसे में समय रहते यह पहचानना जरूरी होता है कि किडनी हेल्दी है या किडनी पर ज्यादा दबाव पड़ रहा है. मेटाबॉलिक डॉक्टर और स्पोर्ट्स फिजियो डॉ. सुधांशु राय ने अपने इंस्टाग्राम हैंडल से एक पोस्ट शेयर किया है जिसमें उन्होंने बताया है कि किडनी पर स्ट्रेस हो तो शरीर पर कौन से साइन नजर आते हैं या क्या लक्षण दिखते हैं.
किडनी पर स्ट्रेस पड़ने के लक्षण
थकान रहना - हर समय शरीर में थकान महसूस होने लगती है. यह इसलिए होता है क्योंकि किडनी के टॉक्सिंस साफ नहीं हो पाते और एनर्जी लेवल्स गिरने लगते हैं.
---विज्ञापन---
पैरों और आंखों में सूजन - किडनी खराब होने लगती है तो शरीर के अलग-अलग हिस्सों के टिशूज में फ्लुइड जमा होने लगता है और सूजन नजर आने लगती है.
---विज्ञापन---
पेशाब में झाग दिखना - किडनी पर ज्यादा स्ट्रेस पड़ता है और किडनी अपना काम ठीक तरह से नहीं कर पाती तो पेशाब में प्रोटीन की लीकेज होने लगती है. इससे पेशाब में झाग (Peshab me jhag) नजर आने लगता है.
बार-बार पेशाब लगना - किडनी यूरिन को बैलेंस नहीं कर पाती जिससे रातभर बार-बार पेशाब लगने लगता है.
पीठ का झुकाव - ऐसा किडनी की तकलीफ या पथरी (Kidney Stones) की दिक्कत में हो सकता है.
रूखी त्वचा और खुजली - शरीर में मिनरल और वेस्ट इंबैलेंस के कारण स्किन इरिटेट होने लगती है. इससे त्वचा रूखी होने लगती है और खुजली होती है सो अलग.
भूख ना लगना या मेटेलिक टेस्ट - शरीर में गंदगी जमने लगती है जिससे पाचन पर असर पड़ता है. होता यह है कि व्यक्ति को या तो भूख नहीं लगती या फिर वो कुछ खाता है तो उसे अजीब स्वाद आता है.
हाई बीपी - किडनी पर स्ट्रेस पड़ता है तो ब्लड प्रेशर की दिक्कत और ज्यादा बढ़ जाती है.
जी मितलाना और उल्टी - पेट में टॉक्सिंस जमने लगते हैं. इससे जी मितलाने लगता है और उल्टी हो सकती है.
सांस फूलना - फेफड़ों में एक्सेस फ्लुइड आ जाता है. इससे श्वसन संबंधी दिक्कतें हो सकती हैं और सांस फूलने लगती है.
डॉक्टर का कहना है कि आपकी किडनी हर दिन चुपचाप अपना काम करती रहती है. टॉक्सिंस को फिल्टर करने से लेकर फ्लुइड बैलेंस और हार्ट प्रोटेक्ट करना किडनी की जिम्मेदारी है. लेकिन, किडनी पर जब ज्यादा दबाव पड़ता है तो शरीर किडनी डैमेज के वॉर्निंग साइन (Kidney Damage Warning Signs) देने लगता है. इसीलिए इन लक्षणों को समय रहता पहचानना जरूरी है जिससे लॉन्ग टर्म या परमानेंट डैमेज से बचा जा सके. ताजा खाएं, अच्छा खाएं, खुद को हाइड्रेटेड रखें और रेग्यूलर चेक अप करवाते रहें.
यह भी पढ़ें- फैटी लिवर के लिए कौन से पेय खराब हैं? डॉक्टर ने कहा Fatty Liver के मरीजों को कभी नहीं पीने चाहिए ये ड्रिंक्स
अस्वीकरण - इस खबर को सामान्य जानकारी के तौर पर लिखा गया है. अधिक जानकारी के लिए विशेषज्ञ की सलाह लें या चिकित्सक से परामर्श करें. न्यूज24 किसी तरह का दावा नहीं करता है.