Donald Trump Proposal: अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने विदेशी कंपनियों को एक प्रस्ताव दिया है. उन्होंने कहा है कि विदेशी कंपनियां न केवल अमेरिका में निवेश करें, बल्कि अमेरिका के श्रमिकों को ट्रेनिंग भी दें. मुश्किल और हाई टेक्नोलॉजी वाले प्रोडक्ट्स का निर्माण करना सिखाएं. इसके लिए वे अपनी कंपनियों के एक्सपर्ट अमेरिका में नियुक्त करें.
उन्होंने अपने ट्रूथ सोशल अकाउंट पर एक पोस्ट लिखकर विदेशी कंपनियों से कहा कि मैन्युफैक्चरिंग, सेमीकंडक्टर, शिप कंस्ट्रक्शन और हाई टेक्नोलॉजी वाली मशीनरी में निवेश करने वाली विदेशी कंपनियां अमेरिका के लोगों को भी अपनी कला, हुनर और प्रशिक्षण का लाभ पहुंचाएं. इससे विदेशी कंपनियों के साथ-साथ अमेरिका का भी फायदा होगा.
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ट्रेनिंग देने के बाद वापस भी जाना होगा
राष्ट्रपति ट्रंप ने माना है कि प्रतिभाशाली विदेशियों को अमेरिका में लाना जरूरी है, लेकिन उन्हें लाकर उनसे काम करवा कर और फिर उन्हें वापस भेज देने की नीति भी अपनाई जाएगी. उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिका के श्रमिक अब जटिल मशीन नहीं बना पाते. इसलिए अमेरिका में निवेश करने वाली कंपनियों को अपने एक्सपर्ट को साथ लाना होगा.
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राष्ट्रपति ट्रंप ने कहा कि चिप, सेमीकंडक्टर्स, कंप्यूटर्स, शिप और ट्रेन जैसे सेक्टर्स में फिर से सीखने की जरूरत है, क्योंकि पहले हम इसमें अग्रणी थे, लेकिन अब पिछड़ गए हैं. इसलिए अमेरिका में बड़े निवेश लेकर आने वाली विदेशी कंपनियों को अपने विशेषज्ञों को भी अस्थायी रूप से साथ लाना होगा, ताकि वे अमेरिकी लोगों को ट्रेनिंग दे सकें.
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ट्रंप ने बताई ट्रेनिंग के ऑफर की वजह
राष्ट्रपति ट्रंप ने कहा कि विदेश कंपनियों को अमेरिका में निवेश करने के लिए डराना या हतोत्साहित करना मकसद नहीं है, बल्कि अमेरिका उनका स्वागत करता है. उनके निवेश और कर्मचारियों का भी स्वागत करता है. इससे अमेरिका की ही फायदा होगा कि अमेरिकी उनसे सीखेंगे और बेहतरीन प्रदर्शन करके अपने साथ देश का विकास भी करेंगे.
उन्होंने चीन, मेक्सिको और कनाडा की कंपनियों, खासकर कार निर्माताओं को यह ऑफर दिया है. बता दें कि राष्ट्रपति ट्रंप का यह बयान तब आया है, जब अमेरिका अपने घरेलू विनिर्माण क्षेत्र को बढ़ावा देने पर जोर दे रहा है. टैरिफ लगाकर व्यापार घाटे को कम करने का प्रयास कर रहा है. इसलिए वह विदेशी कंपनियों को अमेरिका आमंत्रित कर रहा है.