Trendingipl auctionPollutionparliament

---विज्ञापन---

जंगल में हुआ ‘अमर, अकबर, एंथोनी’ का जन्म, आंख खुलने से पहले ही बिछड़ गई मां!

Nandankanan Zoological Park, Bhubaneswar : मध्य प्रदेश के इंदौर चिड़ियाघर से भुवनेश्वर लाई गई शेरनी रीवा ने तीन बच्चों को जन्म दिया लेकिन वह अपने शावकों की देखभाल नहीं कर रही थी, इसके बाद वनकर्मियों ने उन्हें पालने का फैसला किया, जिनका नाम अमर, अकबर, एंथोनी रखा गया है।

भुवनेश्वर के नंदनकानन प्राणी उद्यान में जन्में अमर, अकबर, एंथोनी
Nandankanan Zoological Park, Bhubaneswar : बॉलीवुड की हिट फिल्म अमर, अकबर, एंथोनी तो आपने देखी ही होगी, इस फिल्म में तीन भाइयों के बिछड़ने और मिलने की कहानी दिखाई गई है। हालांकि अब भुवनेश्वर के जंगल में भी अमर अकबर एंथोनी का जन्म हुआ है। जी हां, ये सच है। दरअसल जन्म देने के बाद बाघिन अपने बच्चों की तरफ ध्यान नहीं दे रही थी। इसके बाद वनकर्मियों द्वारा अब इन नन्हें शावकों की देखभाल की जा रही है। वन अधिकारियों ने इनका नामकरण भी कर दिया है।

शेरनी ने दिया तीन बच्चों को जन्म

जानकारी के मुताबिक, भुवनेश्वर के नंदनकानन प्राणी उद्यान में एक शेरनी ने तीन बच्चों को जन्म दिया। हालांकि जन्म देने के बाद से ही वह बच्चों की तरफ ध्यान नहीं दे रही थी। जब वनकर्मियों को इसके बारे में जानकारी मिली तो वह इसका समाधान खोजने लगे। हालांकि शेरनी शावकों की तरफ नहीं आई।

अमर, अकबर, एंथोनी दिया गया नाम

सात साल की एशियाई शेरनी रीवा ने बच्चों को जन्म देने के बाद से ही उन्हें पालने और देखभाल में कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई तो वनकर्मियों को इसकी जिम्मेदारी उठानी पड़ी। जब वनकर्मियों को शावकों के लिंग के बारे में जानकारी मिल गई तो उन्होंने इनका नामकरण किया। एक का नाम अकबर, एक का अमर और एक एंथोनी रखा गया है।

अब चिड़ियाघर में रखा जा रहा ख्याल

वन अधिकारी सुशांत नंदा ने बताया कि जन्म के बाद अमर का वजन 1.360 किलोग्राम था, वहीं अकबर का वजन 1.380 किलोग्राम और एंथोनी का वजन लगभग 1.520 किलोग्राम था। उन्हें अब पालने के लिए चिड़ियाघर लाया गया है, जहां 24 घंटे तक निगरानी की जा रही है। सुशांत नंदा ने कहा कि उन्हें ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन दिया गया था। उन्हें कुछ समय के लिए आईसीयू में भी रखा गया था। दिन में कम से कम 12 बार उन्हें खिलाया पिलाया जाता है" यह भी पढ़ें : ट्रेन के गेट पर कोई खड़ा दिखे तो हो जाएं सावधान, चलती रेलगाड़ी में महिला को लग गया चूना शावकों की मां रीवा के रवैये पर वन अधिकारी सुशांत नंदा ने कहा कि जानवरों में इस तरह का व्यवहार असामान्य नहीं है। इससे पहले 2023 में भी रीवा ने चार बच्चों को जन्म दिया था, जिसमें से दो शावक ही बच पाए थे लेकिन तब भी रीवा ने अपने बच्चों का पालन-पोषण नहीं किया था। बताय गया कि रीवा को साल 2019 में मध्य प्रदेश के इंदौर चिड़ियाघर से लाया गया था।


Topics:

---विज्ञापन---