Varanasi News: उत्तर प्रदेश के वाराणसी में भारी भीड़ को देखते हुए गंगा घाट पर होने वाली भव्य आरती का स्वरूप छोटा कर दिया गया है। लगातार उमड़ रही भीड़ के चलते मंगलवार को शाम छह बजे के बाद नौका संचालन पर भी रोक लगा दी गई है। गंगा आरती को लेकर अगले आदेशों तक जिला व पुलिस प्रशासन की ओर से यह निर्णय लिया गया है। इस दौरान सांकेतिक रूप से मां गंगा की आरती की जाएगी। प्रशासन ने भक्तों से अपील की है कि वे गंगा आरती को देखने के लिए घाटों पर जाने से बचें। मंगलवार सुबह शहर की सड़कों पर काफी भीड़ नजर आई। गंगा के घाटों पर हजारों भक्त दिखे। गोदौलिया से दशाश्वमेध मार्ग पर पैर रखने तक को जगह नहीं मिली।
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इससे पहले 7 अर्चकों द्वारा गंगा आरती को संपन्न करवाया जाता था। अब सिर्फ एक अर्चक ही मां गंगा की आरती संपन्न करेंगे। गंगा सेवा निधि के अध्यक्ष सुशांत मिश्रा के अनुसार वाराणसी में भारी भीड़ उमड़ रही है। इसके मद्देनजर गंगा आरती समिति की तरफ से यह फैसला लिया गया है। लोगों से अपील की जा रही है कि वे आरती स्थल पर भीड़ न जुटाएं। भीड़ नियंत्रित होने तक सांकेतिक रूप से आरती संपन्न करवाई जाएगी। किसी तरह के लाइट और साउंड सिस्टम का प्रयोग भी नहीं किया जाएगा।
40 लाख श्रद्धालुओं के आने का अनुमान
बता दें कि प्रयागराज में महाकुंभ के चलते काशी में सड़कों, गलियों और मंदिरों में सब जगह भीड़ जुटी हुई है। शीतला घाट पर आरती को अगले आदेशों तक स्थगित किया गया है। इसको लेकर समिति ने बैनर भी लगाया है। बैनर में लिखा है कि प्रशासन के सहयोग और श्रद्धालुओं की सुरक्षा के मद्देनजर आरती को अगले आदेशों तक स्थगित किया गया है। बता दें कि काशी में माघ पूर्णिमा से पहले हजारों श्रद्धालुओं की भीड़ नजर आ रही है। सड़कों पर जाम की स्थिति दिख रही है। कई इलाकों में तो पैदल तक चलना मुश्किल है। अनुमान लगाया जा रहा है कि काशी में माघ पूर्णिमा तक 40 लाख श्रद्धालु जुट सकते हैं।
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