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Umesh Pal Case: अतीक को उम्रकैद की सजा सुनाने वाले जज को Y+ सिक्योरिटी, 24 घंटे सुरक्षा में मुस्तैद रहेंगे 11 जवान

Umesh Pal Case: उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में गैंगस्टर अतीक अहमद और दो अन्य को उम्रकैद की सजा सुनाने वाले जज दिनेश चंद्र शुक्ला की सरकार ने सुरक्षा बढ़ा दी है। जज को वाई प्लस (Y+) सिक्योरिटी दी गई है। मंगलवार को उमेश पाल अपहरण केस (Umesh Pal Case) में प्रयागराज की एमपी-एमएलए कोर्ट में […]

Umesh Pal Case: उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में गैंगस्टर अतीक अहमद और दो अन्य को उम्रकैद की सजा सुनाने वाले जज दिनेश चंद्र शुक्ला की सरकार ने सुरक्षा बढ़ा दी है। जज को वाई प्लस (Y+) सिक्योरिटी दी गई है। मंगलवार को उमेश पाल अपहरण केस (Umesh Pal Case) में प्रयागराज की एमपी-एमएलए कोर्ट में अतीक अहमद, उसके भाई अशरफ समेत अन्य आरोपियों की पेशी थी। कोर्ट ने अतीक के भाई अशरफ समेत सात लोगों को बरी कर दिया था।

प्रयागराज कोर्ट में भी बढ़ाई गई सुरक्षा

अतीक के सजा के बाद उत्तर प्रदेश पुलिस के शीर्ष अधिकारियों और स्थानीय पुलिस ने न्यायाधीश को पर्याप्त सुरक्षा प्रदान की है। इतना ही नहीं 2006 में उमेश पाल के अपहरण के मामले में अतीक अहमद और दो अन्य आरोपियों को दोषी ठहराने वाले प्रयागराज एमपी-एमएलए कोर्ट परिसर के आसपास भी सुरक्षा कड़ी कर दी गई है। यह भी पढ़ेंः अतीक के भाई अशरफ का दावा, कहा- मुझे 2 सप्ताह में जेल से बाहर ले जाकर मार दिया जाएगा

फैसले के बाद अधिकारियों की हुई बैठक

एक मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि इस घटना के बाद एक उच्च स्तरीय बैठक हुई, जिसमें जज को वाई प्लस सुरक्षा देने का फैसला किया गया। जानकारों का कहना है कि भारत में प्रतिष्ठित व्यक्तियों, लोकप्रिय लोगों को सुरक्षा देने की पेशकश की जाती है।

ये होता है वाई प्लट सिक्योरिटी घेरा

वाई-प्लस सुरक्षा भारत में चौथे स्तर की सुरक्षा होती है। इसमें 11 सुरक्षकर्मी होते हैं। इन सुरक्षा कर्मियों में एक या दो एनएसजी कमांडो और बाकी पुलिस कर्मी शामिल किए जाते हैं। वाई प्लस सुरक्षा पाने वाले व्यक्ति के साथ दो निजी सुरक्षा अधिकारी भी तैनात किए जाते हैं। यह भी पढ़ेंः अतीक को लेकर साबरमती जा रहा काफिला कोटा में रुका, थाने में माफिया को कराया फ्रैश, पुलिस बोली- कुंडी मत लगाना

वर्ष 2006 में उमेश पाल का हुआ था अपहरण

सूत्रों के मुताबिक वाई-प्लस सुरक्षा के बाद न्यायाधीश के साथ 24 घंटे ये सुरक्षा जवान मुस्तैद रहेंगे। इतना ही नहीं, जज के कहीं भी यात्रा के दौरान भी ये सुरक्षा घेरा उनके साथ चलेगा। बता दें कि वर्ष 2006 में विधायक राजू पाल की हत्याकांड के गवाह उमेश पाल का अपहरण किया गया था। इसके बाद उमेश को अतीक के चकिया ऑफिस में ले जाया गया था।

इन्हीं जज ने योगी के मंत्री को भी सुनाई थी सजा

जज दिनेश चंद्र शुक्ला ने हाल ही में योगी सरकार के मंत्री गोपाल गुप्ती नंदी को भी सजा सुनाई थी। मंत्री पर आरोप था कि उन्होंने सपा के एक नेता की सभा पर हमला कर दिया था। इस मामले में वर्ष 2014 में नंदी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया था।

22 साल पुराने मामला में सपा विधायक को भी दी सजा

वहीं एक अन्य मामले में जज दिनेश चंद्र शुक्ला ने सपा विधायक नजमा यादव को भी सजा सुनाई थी। सपा विधायक के खिलाफ 22 साल से एक मामला चल रहा था। जज दिनेश चंद्र शुक्ला ने उन्हें डेढ़ साल की सजा सुनाई थी। एक मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि जज दिनेश चंद्र शुक्ला रायबरेली के रहने वाले हैं। उत्तर प्रदेश की खबरों के लिए यहां क्लिक करेंः-


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