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निकाय चुनाव के बीच चुनाव आयोग से क्यों खफा दिखे CM देवेंद्र फडणवीस?

बॉम्बे हाइकोर्ट ने महाराष्ट्र निकाय चुनाव के नतीजों को 21 दिसंबर के लिए टाल दिया है। पहले इसके नतीजे 3 दिसंबर को आने वाले थे। लेकिन मंगलवार को कोर्ट ने नतीजों की तारीख आगे बढ़ाने का आदेश दिया।

सीएम देवेंद्र फडणवीस (Pic Credit-ANI)

महाराष्ट्र में स्थानीय निकाय चुनाव के पहले चरण के तहत आज वोट डाले जा रहे हैं। आज 264 नगर परिषदों और नगर पंचायतों के लिए वोटिंग जारी है। इस चरण के मतदान की काउंटिंग बुधवार तीन दिसंबर को ही होने वाली थी। लेकिन बॉम्बे हाई कोर्ट ने कल की काउंटिंग पर रोक लगा दी। अब इनके नतीजे 21 दिसंबर को जारी किए जाएंगे। बॉम्बे हाई कोर्ट की नागपुर बेंच ने मंगलवार को इस मामले की सुनवाई की थी, जिसमें काउंटिंग की डेट बदली गई है।

सीएम की क्या है नाराजगी?

इस फैसले से महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस नाराज दिखाई दिए। उन्होंने चुनाव आयोग पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने कहा, 'इतने वर्षों के सियासी अनुभव में पहली बार देख रहा हूं कि चुनावों का ऐलान हो गया, वोटिंग हो गई लेकिन नतीजे इतने दिनों बाद आएंगे। अदालती दखल की वजह से नतीजों को टालना लोकतांत्रिक व्यवस्था के अनुरूप नहीं है। कई उम्मीदवार और कार्यकर्ता इससे सबसे ज़्यादा प्रभावित होंगे।"

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मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि मैं चुनाव आयोग पर आरोप नहीं लगाऊंगा, लेकिन जब नियमों की गलत व्याख्या की जाती है तो प्रक्रिया पर सवाल उठते हैं. कोर्ट ने भी ऐसा किया है,जहां सब कुछ ठीक से हुआ,फिर भी नतीजे टाल दिए गए। साथ ही उन्होंने सुझाव दिया कि चुनाव आयोग को अगले चुनावों की योजना बनाते समय ऐसी गलतियों से बचना चाहिए।

चुनाव स्थगित पर भी उठाए थे सवाल

इससे पहले चुनाव आयोग ने सोमवार को 20 से ज्यादा जगहों पर मतदान स्थगित कर दिया गया था। अब वहां पर 20 दिसंबर को मतदान होगा। चुनाव आयोग के इस फैसले पर भी मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने नाराजगी जताई थी। उन्होंने इस फैसले को गलत बताया था। उन्होंने कहा था कि चुनाव आयोग ने कानून की गलत व्याख्या की है। मुझे नहीं पता कि आयोग क्या कानून बना रहा है या किसकी सलाह ले रहा है। लेकिन सिर्फ़ इसलिए कि कोई व्यक्ति कोर्ट गया है, चुनाव स्थगित करना बहुत गलत है।

बता दें, निलंगा में एक उम्मीदवार की उम्मीदवारी खारिज हो गई थी। जिसके बाद उस उम्मीदवार ने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। फिर चुनाव आयोग ने प्रक्रिया पूरी होने के बावजूद मतदान को अंतिम समय में स्थगित कर दिया गया था.

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किसने की कितनी सभा?

निकाय चुनाव में भाजपा-शिवसेना (शिंदे गुट)–एनसीपी (अजीत गुट) के बीच कड़ा मुकाबला देखने को मिल रहा है। कई जगहों पर विपक्ष मुकाबले में दिख रहा है। महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने 23 जिलों में 53 सभाएं और 2 रोड शो किए हैं. दूसरे नंबर पर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस हैं। सीएम ने 35 जनसभाएं कीं. दूसरी तरफ़, विपक्ष की बात करें तो उद्धव ठाकरे कोई चुनाव प्रचार नहीं किया। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष हर्षवर्धन सपकाळ के अलावा कांग्रेस का कोई बड़ा नेता प्रचार करते नहीं दिखा।


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