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गुजरात के टेक्सस्टाइल और केमिकल इंडस्ट्री पर पड़ा बांग्लादेश की अशांति का असर, पढ़ें खबर

Gujarat Textile and Chemical Industry: गुजरात की टेक्सस्टाइल और केमिकल इंडस्ट्री पर बांग्लादेश के संकट का असर पड़ रहा है।

Gujarat Textile and Chemical Industry: बांग्लादेश में चल रहे संकट का असर गुजरात के टेक्सस्टाइल और केमिकल की इंडस्ट्री पर भी पड़ रहा है, जो दक्षिण एशिया के बाजार का एक बड़ा हिस्सा है। बांग्लादेश की स्थिति पर इस सेक्टर की कंपनियों ने बारीकी से नजर रखी हुई और हर संभावित व्यवधानों के लिए तैयार हैं। शुरुआती अनुमानों से पता चला है कि इससे गुजरात के टेक्सस्टाइल इंडस्ट्री में 1,000 करोड़ रुपये के लेन-देन प्रभावित हुए हैं।

गुजरात का टेक्सस्टाइल

अब गुजरात की टेक्सस्टाइल और केमिकल दोनों इंडस्ट्री पुनरुद्धार के चरण में है। ऐसे में बांग्लादेश का यह संकट राज्य इन दोनों उद्योगों के गंभीर रूप से प्रभावित कर सकता है। गुजरात का कपड़ा उद्योग पहले ही बांग्लादेश के निर्यात पर बहुत अधिक निर्भर है और अब काफी हद तक प्रभावित हो चुका है। GCCI टेक्सटाइल टास्कफोर्स के को-चेयरमैन राहुल शाह ने बताया कि गुजरात के सूती धागे का करीब 60 प्रतिशत निर्यात बांग्लादेश जाता है, और एहतियात के तौर पर नए शिपमेंट रोक दिए गए हैं। खबरों की माने तो 100 कंटेनर, जिनमें से प्रत्येक का वजन 20 टन है, गुजरात के बंदरगाहों पर फंसे हुए हैं। जो निर्यात के फिर से शुरू होने का इंतजार कर रहे हैं। यह भी पढ़ें: गुजरात में पिछले 7 साल में 52,394 करोड़ रुपये GST की चोरी, पढ़ें पूरी रिपोर्ट

केमिकल इंडस्ट्री की चुनौती

वहीं गुजरात की केमिकल इंडस्ट्री भी चुनौतियों का सामना कर रही है। गुजरात डाइस्टफ्स मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन (GDMA) के उपाध्यक्ष नीलेश दमानी ने बताया कि गुजरात के डाइस्टफ निर्माता बांग्लादेश को हर महीने लगभग 3,500 से 4,000 टन डाइ, मुख्य रूप से रिएक्टिव डाइ की आपूर्ति करता हैं, जो राज्य के डाइ निर्यात का करीब 15 प्रतिशत है। उन्होंने आगे कहा कि वह स्थिति का आकलन करने और संभावित नुकसान को कम करने के लिए रणनीति तैयार कर रहे हैं। इसके लिए निर्यातकों की एक बैठक आयोजित की जाने वाली है।


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