America deported Gujaratis Family Shocked: 'हम तो हैरान हैं.... हमें तो पता ही नहीं था कि ये लोग अमेरिका में अवैध रूप से रह रहे थे...' ये कहना है अमेरिका से भारत डिपोर्ट किए गए 33 गुजरातियों के परिवार का। इन 33 गुजरातियों के परिवार ने बताया कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प द्वारा अवैध प्रवासियों पर कार्रवाई करने के दौरान उन्हें रिश्तेदारों की गिरफ्तारी और निर्वासन से पहले ये पता ही नहीं था कि वे अमेरिका में अवैध रूप से रह रहे थे। वहीं सोशल मीडिया पर अमेरिका से डिपोर्ट हुई युवतियों का एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। इस वीडियो में अमेरिका से लौटीं युवतियां चेहरा छुपाती दिख रही हैं।
'हमारी बेटी तो यूरोप गई थी'
अमेरिका से डिपोर्ट हुई अवैध प्रवासी निकिता पटेल के पिता कनुभाई पटेल ने बताया कि उनकी बेटी ने परिवार को बताया था कि वह यूरोप की टूर पर गई है। कनुभाई पटेल ने कहा कि उनकी बेटी ने अमेरिका में रहने के बारे में कुछ भी नहीं बताया था। कनुभाई पटेल ने कहा कि उनकी बेटी को अमेरिका से वापस भेजे जाने से उनका परिवार हैरान है। लेकिन वह आशा करते हैं कि उनकी बेटी सुरक्षित वापस देश आएगी। उन्होंने बताया कि उनकी बेटी ने सिर्फ यूरोप जाने की बात कही, उसने अमेरिका जाने की कोई बात नहीं की थी। हम लोगों को तो मीडिया से पता चला कि गुजरात से 33 लोगों को वापस भेजा जा रहा है।
'उसे ऐसा नहीं करना चाहिए था'
वहीं एक दूसरे अवैध अप्रवासी केतुल पटेल एक साल पहले सूरत में अपना फ्लैट बेचकर अमेरिका चले गए थे। एजेंट के जरिए उनका फ्लैट खरीदने वाले प्रफुल पटेल ने कहा कि वह इस बात से दुखी हैं कि केतुल अमेरिका में अवैध रूप से रह रहे थे। प्रफुल पटेल ने कहा कि केतुल को ऐसा नहीं करना चाहिए था। अगर उसे अमेरिका जाना था, तो उसे कानूनी तौर पर वहीं रहना चाहिए था। परिवार का स्वभाव बहुत अच्छा है।
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वो लोग अमेरिका पहुंचे कैसे?
गांधीनगर के गोहिल परिवार के 3 लोग भी अमेरिका से डिपोर्ट हुए हैं। इनमें किरण सिंह गोहिल, उनकी पत्नी मित्तलबेन और बेटा हयांश शामिल हैं। ये सभी लोग एक महीने पहले ही अमेरिका गए थे। किरण सिंह की मां अपने बेटे और उसके परिवार के अमेरिका से डिपोर्ट होने की खबर पर भावुक हो गईं। उन्होंने कहा कि उन्हें इस बारे में कुछ नहीं पता कि आखिर वे लोग वहां कैसे पहुंचे।
किरण सिंह ने मां बताया कि पिछले 15 दिनों से उनकी उन लोगों से कोई बात नहीं हुई है, वो तो उनकी सुरक्षा को लेकर परेशान हैं। उन्हें और उनके गांव वालों को तो पता भी नहीं है कि आखिर ये लोग अमेरिका कैसे गए। अच्छा होगा कि वे जल्दी वापस आ जाएं।