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Delhi Election Results: जीत के बाद CM फेस को लेकर बड़ी चुनौती, क्या होगी BJP की रणनीति?

Delhi Election Results 2025: दिल्ली में भाजपा के लिए सीएम चेहरे का चुनाव करना बहुत कठिन होने वाला है। भाजपा को एक ऐसे नेता का चुनाव करना है जो सबको साथ लेकर चल सके और दिल्ली की जनता की उम्मीदों पर खरा उतरे। साथ ही दिल्ली में ठप पड़ चुके विकास कार्यों, साफ-सफाई आदि में बदलाव कर सके।

सांकेतिक तस्वीर।
Delhi BJP CM Face: दिल्ली में 26 साल बाद भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने जीत का परचम लहराया है। इस जीत के साथ ही लोगों के बीच सीएम चेहरे के सवाल पर चर्चा होने लगी है। सवाल उठना भी लाजमी है कि भाजपा दिल्ली का मुख्यमंत्री किसे बनाएगी? कुछ राज्यों में भाजपा की जीत पर नजर डालें तो यहां पार्टी आलाकमान ने सीएम फेस को लेकर सबको चौंका दिया था। इस कड़ी में राजस्थान, छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश में हुए मुख्यमंत्री के नाम का ऐलान प्रमुख है। इन राज्यों में जीत के बाद भी यही सवाल उठ रहे थे कि सीएम किसे बनाया जाएगा। लेकिन, राजस्थान में भजनलाल, छत्तीसगढ़ में विष्णु देव साय और मध्यप्रदेश में मोहन यादव के नाम का ऐलान कर भाजपा आलाकमान ने सबको चौंका दिया था।

सीएम पद को लेकर लगाई जा रहीं अटकलें

भारतीय जनता पार्टी में सीएम का पद किसे मिलने वाला है इस पर केवल अटकलें ही लगाईं जा सकती हैं। जिस तरह की परिस्थितियां दिल्ली में बन रही हैं, उससे लगता है कि भाजपा आलाकमान को बहुत सोच समझकर फैसला करना होगा। क्योंकि, यहां एक-दो नहीं बल्कि कई धड़े हैं। स्थानीय नेताओं में अलग-अलग गुट होने के साथ ही बाहरी नेताओं का भी अपना दबदबा है। जिसमें पूर्वांचली, पंजाबी और उत्तराखंड लॉबी सबसे ज्यादा मजबूत दावेदार है। ये क्षेत्रीय फैक्टर चुनाव में भी काफी अहम होते हैं। माना जा रहा है कि इस बार भाजपा की इस प्रचंड जीत में ये तमाम फैक्टर ने काम किया है।

सीएम की रेस में कई नाम

दिल्ली विधानसभा चुनावों में भाजपा को स्पष्ट बहुमत मिल चुका है और पार्टी ने सरकार बनाने की कवायद शुरू कर दी है। मुख्यमंत्री पद की रेस में परवेश वर्मा, मनजिंदर सिंह सिरसा, रविंद्र सिंह नेगी, दुष्यंत गौतम, विजेंदर गुप्ता और वीरेंद्र सचदेवा प्रमुख नाम हैं।

भाजपा पूर्वांचली नेताओं पर लगा सकती है दांव

दिल्ली में जीत के साथ ही भाजपा अब बिहार में इस साल होने वाले विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटने जा रही है। मतगणना से एक दिन पहले शुक्रवार को पीएम मोदी ने बिहार के सभी सांसदों के साथ मुलाकात भी की थी। इस मुलाकात को बिहार विधानसभा चुनाव की तैयारियों से जोड़ कर देखा जा रहा है। सियासी गलियारे में इस बात की भी चर्चा है कि बिहार विधानसभा चुनाव के मद्देनजर किसी पूर्वांचली को सीएम बनाकर बिहार के मतदाताओं को लुभाया जा सकता है। ऐसे में मनोज तिवारी का नाम सबसे आगे आता है।

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बिहार से ताल्लुक रखते हैं मनोज तिवारी

भाजपा मनोज तिवारी को सीएम बनाने को लेकर भी सोच सकती है। तिवारी को पूर्वांचल का बड़ा चेहरा बताया जाता है। वह दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेदारी भी संभाल चुके हैं। इतना ही नहीं इस बार लोकसभा चुनाव के दौरान भी तिवारी ही सिर्फ एक ऐसे उम्मीदवार थे, जिनपर भाजपा ने दोबारा भरोसा जताया था। वह दो बार से सांसद भी हैं। पूर्वांचली वोट को बंटने से बचाने में इनकी खास भूमिका रही है। मनोज तिवारी ने सीएम चेहरे के सवाल पर मीडिया से बात करते हुए कहा कि जो भी सीएम बनेगा वो दिल्ली का विकास करेगा। मनोज तिवारी ने कहा, "48 सीटों के साथ सरकार बनाना ऐतिहासिक है। हम दिल्ली की जनता का आभार व्यक्त करते हैं और अब हम दिल्ली की बेहतरी के लिए काम करेंगे। हम दिल्ली को विश्वस्तरीय राजधानी बनाएंगे।"

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पंजाबी समुदाय को भी दिया जा सकता है मौका

भाजपा अगर पूर्वांचली को छोड़कर पंजाबी समुदाय के नाम पर चर्चा करती है तो दिल्ली भाजपा के अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा का नाम सामने आता है। वीरेंद्र सचदेवा के अध्यक्ष रहते हुए ही दिल्ली में भाजपा को 26 साल बाद कमल खिलाने का सुनहरा मौका मिला है। ऐसे में भाजपा उनको सीएम बनाकर उनकी मेहनत का इनाम दे सकती है। वीरेंद्र सचदेवा ने इस चुनाव में काफी मेहनत की है। साथ ही उनका नाम भी दिल्ली भाजपा के बड़े नामों में शामिल है। सचदेवा पार्टी की पंजाबी लॉबी को भी रिप्रजेंट करते हैं। दिल्ली में मूल रूप से पंजाबी वोटर्स की काफी संख्या है। पंजाबियों को साधे बिना दिल्ली पर कभी राज नहीं किया जा सकता। ऐसे में नैतिक रूप से उनका भी अधिकार बनता है कि दिल्ली का सीएम उन्हें बनाया जाए।

उत्तराखंड लॉबी से सीएम बनाने पर सहमति बनी तो...

पूर्वांचली और पंजाबी समुदाय को दरकिनार कर अगर उत्तराखंड लॉबी से किसी नेता को सीएम बनाने पर विचार किया जाता है तो रविंद्र सिंह नेगी उर्फ रवि नेगी का नाम भी चर्चा में आ सकता है। क्योंकि, दिल्ली की महत्वपूर्ण विधानसभा सीट पटपड़गंज से उत्तराखंड के रविंद्र सिंह नेगी उर्फ रवि नेगी ने जीत हासिल की है। रवि ने आम आदमी पार्टी के तगड़े उम्मीदवार अवध ओझा को पटखनी दी है। भाजपा के रविंद्र नेगी ने आम आदमी पार्टी के अवध ओझा को 23 हजार 280 वोटों से हराया है। शनिवार को जीत हासिल करने के बाद रविंद्र सिंह नेगी काफी खुश नजर आ रहे थे। उन्होंने कहा कि, "यह प्रधानमंत्री मोदी की जीत है, उन्होंने दिल्ली के लोगों को समझाया कि 'आपदा' को हटाना क्यों जरूरी है। मैं पार्टी नेतृत्व को धन्यवाद देता हूं।" बता दें कि रविंद्र सिंह नेगी वही हैं जिनके पीएम मोदी ने 3 बार पैर छुए थे। दरअसल, चुनावी सभा को संबोधित करने पहुंचे पीएम मोदी के पैर रविंद्र सिंह नेगी ने छुए थे। जिसके बाद पीएम मोदी ने उन्हें रोककर 3 बार उनके पैर छुए थे। पटपड़गंज विधानसभा क्षेत्र से भाजपा के विजयी उम्मीदवार रविंदर सिंह नेगी ने कहा, "दिल्ली की हालत खराब है और यहां के लोग चाहते हैं कि यह अच्छी स्थिति में रहे... हम उस दिशा में काम करेंगे।"


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