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बिहार में विधायकों का अपहरण! JDU नेता ने थाने में दी शिकायत, तेजस्वी के करीबी ठेकेदार पर आरोप

JDU MLA Dilip Ray Bima Bharti Kidnap: बिहार में दो विधायकों के अपहरण की प्राथमिकी दर्ज की गई है। ये विधायक बीमा भारती और दिलीप राय हैं।

बिहार में सियासी खेला चल रहा है।
अमिताभ ओझा, पटना:  JDU MLA Dilip Ray Bima Bharti Kidnap: बिहार में सियासी खेला खत्म नहीं हो रहा है। सोमवार को नीतीश कुमार के नेतृत्व में एनडीए सरकार ने 129 विधायकों के आंकड़े के साथ फ्लोर टेस्ट जीत लिया। इस जीत के बाद बिहार में सियासी सरगर्मी और बढ़ गई है। जेडीयू की ओर से कोतवाली थाना पटना में अपने दो विधायकों के अपहरण की प्राथमिकी दर्ज कराई गई है। खास बात यह है कि अपहरण का आरोप तेजस्वी यादव के एक करीबी ठेकेदार पर लगाया गया है।

बीमा भारती और दिलीप राय के अपहरण की प्राथमिकी दर्ज

जानकारी के अनुसार, पटना के कोतवाली थाने में जेडीयू विधायक बीमा भारती और दिलीप राय के अपहरण की प्राथमिकी दर्ज कराई गई है। ये प्राथमिकी जेडीयू के विधायक सुधांशु शेखर की ओर से दर्ज कराई गई। उन्होंने आरोप लगाया कि जेडीयू विधायक डॉ. संजीव और तेजस्वी यादव के करीबी ठेकेदार सुनील कुमार राय ने मिलकर दोनों विधायकों का अपहरण कर लिया है।

ऑफर हुए थे 10 करोड़ रुपये

इस सनसनीखेज आरोप के बाद बिहार पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है। सुधांशु शेखर ने इसके साथ ही महागठबंधन पर विधायकों की खरीद-फरोख्त का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि इंजीनियर सुनील ने उन्हें महागठबंधन में आने का ऑफर दिया था। जिसके लिए 10 करोड़ रुपये देने की बात कही थी। हालांकि मैंने उन्हें यह कहकर बात टाल दी कि सोचकर बताते हैं। इसके साथ ही पूर्व मंत्री नागमणि कुशवाहा ने भी इसी तरह का ऑफर दिया था। जेडीयू के विधायक डॉ. संजीव पर ही पार्टी के विधायकों को तोड़ने का आरोप लगाया जा रहा है। उन्हें इस पूरे 'खेला' का मास्टरमाइंड कहा जा रहा है। रविवार रात डॉ. संजीव को पुलिस ने नवादा में रोक लिया था।

दिलीप राय गायब रहे

आपको बता दें कि डॉ. संजीव रातभर पुलिस की सुरक्षा में रहे थे। उन्हें नवादा के सरकारी गेस्ट हाउस में रोका गया। सुबह वे विधानसभा पहुंचे। उनके साथ पुलिस की सुरक्षा भी थी। डॉ. संजीव ने एनडीए सरकार के समर्थन में वोट भी दिया। वहीं दिलीप राय तो सदन में पहुंचे ही नहीं। हालांकि बीमा भारती अविश्वास प्रस्ताव पर वोटिंग के बाद विधानसभा पहुंचीं थीं। बता दें कि आरजेडी के तीन विधायकों ने क्रॉस वोटिंग भी की थी। इस तरह नीतीश सरकार ने विश्वास प्रस्ताव जीत लिया। आपको बता दें कि नीतीश कुमार ने सोमवार को कहा था कि विधायकों की खरीद-फरोख्त करने वालों को नहीं छोड़ेंगे। इसी तरह की बात उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने भी कही थी। ये भी पढ़ें: हमने राजद को इज्जत दी, लेकिन ये लोग कमा रहे थे; तीखे तेवरों में दिखे नीतीश, महागठबंधन से अलग होने की बताई वजह  ये भी पढ़ें: Bihar Floor Test: तेजस्वी यादव के साथ ही हो गया ‘खेला’; कौन हैं RJD के वो 3 विधायक, जिन्होंने पाला बदला


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