Bihar Political Crisis: RJD-JDU के गठबंधन पर पशुपति पारस की ‘भविष्यवाणी’, बोले- ये बिहार के लिए अच्छा संकेत नहीं
बिहार सरकार ने पशुपति पारस को बंगला खाली करने को नोटिस दिया है।
पटना: बिहार में जारी राजनीतिक उठा-पटक के बीच राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी (RLJP) के राष्ट्रीय अध्यक्ष पशुपति पारस ने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने राजनीतिक भविष्यवाणी करते हुए कहा है कि पहले भी राजद और जदयू के बीच एक प्रयोग किया गया था लेकिन वे लंबे समय तक एक साथ नहीं रह सकते। एक बार ये गठबंधन आ रहा है, यह बिहार के विकास के लिए अच्छा संकेत नहीं है।
केंद्रीय मंत्री और आरएलजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष पशुपति पारस ने ये भी साफ किया कि हमने एनडीए का हिस्सा बने रहने का फैसला किया है। उधर, आरएलजेपी के नेता और लोकसभा सांसद प्रिंस राज ने भी कहा कि राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी (RLJP) NDA के साथ है। हम अन्य दलों के फैसलों पर टिप्पणी नहीं करना चाहते लेकिन हम एनडीए के साथ हैं। हमें ऐसा नहीं लगा (भाजपा सम्मान नहीं दे रही है)। वे (जदयू) केवल उनके बारे में बता सकते हैं।
चिराग पासवान बोले- बिहार में राष्ट्रपति शासन लागू हो
उधर, लोजपा नेता (रामविलास गुट) चिराग पासवान ने कहा कि नीतीश कुमार की साख आज शून्य है. हम चाहते हैं कि बिहार में राष्ट्रपति शासन लागू हो और राज्य को नए सिरे से जनादेश देना चाहिए। आपकी (नीतीश कुमार) कोई विचारधारा है या नहीं? अगले चुनाव में जदयू को 0 सीटें मिलेगी।
नीतीश कुमार ने भाजपा पर लगाया है बड़ा आरोप
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भाजपा पर बड़ा आरोप लगाया है। नीतीश कुमार ने कहा है कि भाजपा ने हमेशा उन्हें अपमानित किया है। साथ ही जेडीयू को भी खत्म करने की साजिश रची। सूत्रों के मुताबिक, जदयू के विधायक दल की मीटिंग में पार्टी के विधायकों, एमएलसी ने नीतीश कुमार से कहा कि भाजपा 2020 से जेडीयू को कमजोर करने की कोशिश कर रहा है। साथ ही कहा कि अभी सतर्क नहीं हुए तो पार्टी के लिए अच्छा नहीं होगा।
नीतीश को मिला पूरे विपक्ष का समर्थन
उधर, नीतीश कुमार आज शाम चार बजे बिहार के राज्यपाल फागू चौहान से मुलाकात करेंगे। इस दौरान तेजस्वी यादव और बिहार कांग्रेस के अध्यक्ष भी उनके साथ होंगे। कहा जा रहा है कि नीतीश कुमार राज्यपाल से मुलाकात के दौरान महगठबंधन में शामिल पार्टियों की ओर से समर्थन पत्र सौंपेंगे। इसके बाद वे राजभवन से निकलकर इस्तीफा देंगे। बताया जा रहा है कि महागठबंधन बुधवार को शपथ ग्रहण की मांग कर सकता है।
हमने बिहार के लोगों के लिए ईमानदारी से काम किया है: भाजपा
उधर, दिल्ली में मौजूद बिहार भाजपा के नेता शाहनवाज हुसैन ने कहा कि हम अपनी पार्टी को मजबूत करते हैं, हम किसी अन्य पार्टी को कमजोर नहीं करते हैं। पटना जा रहा हूं। उन्होंने कहा कि बिहार के ताजा राजनीतिक हालत पर पार्टी नेतृत्व आधिकारिक बयान देगा, पार्टी टिप्पणी करेगी, मैं नहीं करूंगा। हमने बिहार के लोगों के व्यापार और रोजगार के लिए ईमानदारी से काम किया है।
पहले भी नीतीश ने छोड़ा था एनडीए
बता दें कि यह पहला मौका नहीं है, जब नीतीश कुमार एनडीए छोड़कर महागठबंधन के साथ सरकार बनाने जा रहे हैं।2014 लोकसभा चुनाव से पहले नरेंद्र मोदी को एनडीए का पीएम उम्मीदवार घोषित किए जाने के विरोध में नीतीश कुमार ने बीजेपी से नाता तोड़ लिया था, हालांकि 2 साल बाद ही 2017 में वे महागठबंधन से अलग होकर एनडीए में लौट आए थे और 2020 में विधानसभा चुनाव भाजपा के साथ लड़ा था।
बिहार विधानसभा की स्थिति
विधानसभा की कुल सीटें - 243 (अनंत सिंह की सदस्यता खत्म होने के बाद अभी कुल - 242)
- भाजपा : 77
- राजद : 79
- जदयू : 45
- कांग्रेस : 19
- वामदल : 16
- HAM : चार
- AIMIM : एक
- निर्दलीय : एक
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