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कौन है बरेली हिंसा का आरोपी तौकीर रजा? 2010 में भी दंगे का है आरोपी, इन पार्टियों का भी रहा है साथ

यूपी में बरेली की हिंसा पूरे देश में चर्चा का विषय रही। शुक्रवार को जुमा की नमाज के बाद लोगों ने जुलूस निकाला था। इस दौरान पुलिस ने नोंक झोंक भी हुई। पथराव भी हुआ। पुलिस ने मामले में तौकीर रजा को मुख्य आरोपी बनाया है। तौकीर के बारे में विस्तार से जानिए।

तौकीर रजा कौन है

यूपी के बरेली में आई लव मोहम्मद जुलूस में पुलिस और लोगों में हिंसक झड़प होने का मामला तूल पकड़ता जा रहा है. पुलिस ने हिंसा के मास्टर माइंड तौकीर रजा समेत 10 लोगों पर एफआईआर दर्ज की है. पुलिस ने तौकीर को गिरफ्तार कर लिया गया है. बरेली डीआईजी अजय कुमार साहनी ने बताया कि लोगों को इकट्ठा करने और योजना को साझा करने के लिए सोशल मीडिया का इस्तेमाल किया गया. प्रदर्शनकारियों के पास से बड़ी संख्या में हथियार और पत्थर बरामद किए गए हैं. मौलाना तौकीर रजा इत्‍तेहाद ए मिल्‍लत काउंसिल (IMC) के प्रमुख हैं.

2010 में कराए थे दंगे

तौकीर का पूरा नाम तौकीर रजा खान है. तौकीर मौलाना के साथ मुस्लिम नेता भी है. तौकीर को राजनीति विरासत में मिली है. उनके दादा अहमद रजा खान के परपोते हैं, जो बरेलवी आंदोलन के संस्थापक थे. तौकीर खुद को मुस्लिमों के हितों की रक्षा करने वाला नेता मानते हैं। साल 2010 में भी तैकीर पर बरेली में दंगे कराने का आरोप लगा था। उसका मामला अभी भी कोर्ट में चल रहा है। वर्तमान रजा मौलाना के साथ ही इत्तेहाद-ए-मिल्लत काउंसिल (IMC) के अध्यक्ष हैं.

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20 लोगों के धर्म परिवर्तन की मांगी थी परमिशन

इसी साल जुलाई में मौलाना तौकीर रजा तब चर्चा में आया था, जब उसने प्रशासन से 20 युवक-युवतियों का धर्म परिवर्तन कराने की अनुमति मांगी थी। रजा ने कहा था कि 8 लड़कियां और 15 लड़कों ने इस्लाम कबूल करने की इच्छा जताई है। कहा कि इन सबने पहले से शादी कर रखी है। तौकीर रजा धर्म परिवर्तन के साथ इनका निकाह कराने की भी तैयारी में था.

कांग्रेस, सपा, बसपा का निभा चुके हैं साथ

तौकीर रजा ने साल 2001 में इत्तेहाद ए मिल्लत परिषद नाम से राजनीतिक पार्टी बनाई थी. बरेली के नगर पालिका चुनाव में तौकीर की पार्टी ने 10 सीटें जीती थीं. हालांकि ज्यादा फायदा न होते देख तौकीर ने साल 2009 में कांग्रेस ज्वाइन कर ली। इसके बाद पार्टी बदलते हुए साल 2012 में रजा ने विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी को समर्थन दिया. रजा की पार्टी ने भोजीपुरा सीट जीती। साल 2013 में अखिलेश सरकार ने तौकीर को हथकरघा निगम के उपाध्यक्ष का जिम्मा दिया था. मुजफ्फरनगर दंगों के बाद रजा ने इस पद को वापस कर दिया और समाजवादी पार्टी से इस्तीफा दे दिया. इसके बाद तौकीर ने साल 2014 में बसपा को समर्थन दिया लेकिन करारी हार का सामना करना पड़ा. अंत में साल 2015 में तौकीर ने ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (जेडेड) का गठन किया.

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