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महाराष्ट्र के डॉक्टर का कमाल, एशिया बुक में दर्ज हुआ अनोखा सर्जरी रिकॉर्ड

Asia Book of Records: क्या आप यकीन करेंगे कि सिर्फ 13.5 घंटे में 42 घुटनों का ट्रांसप्लांट किया जा सकता है? महाराष्ट्र के डॉक्टर शिवकुमार संतपुरे और उनकी टीम ने यह करिश्मा कर दिखाया। कमलनयन बजाज अस्पताल में हुई इस ऐतिहासिक सर्जरी ने एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में जगह बना ली है। आइए जानते हैं पूरी कहानी।

Chhatrapati Sambhajinagar
Asia Book of Records: क्या आपने कभी सुना है कि एक डॉक्टर सिर्फ 13 घंटे में 42 घुटनों का ट्रांसप्लांट कर सकता है? यह कारनामा कर दिखाया है महाराष्ट्र के छत्रपति संभाजीनगर के कमलनयन बजाज अस्पताल के डॉक्टर शिवकुमार संतपुरे और उनकी टीम ने। उनकी मेहनत और शानदार टीमवर्क की बदौलत यह रिकॉर्ड एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज हो गया। पहले यह रिकॉर्ड दिल्ली के एक अस्पताल के नाम था, लेकिन अब इसे तोड़कर महाराष्ट्र ने नया इतिहास रच दिया है। आइए जानते हैं कि कैसे डॉक्टरों की इस टीम ने असंभव लगने वाले इस मिशन को सफल बनाया।

एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में नाम दर्ज

महाराष्ट्र के छत्रपति संभाजीनगर जिले के कमलनयन बजाज अस्पताल ने एक अनोखा कीर्तिमान स्थापित किया है। इस अस्पताल के डॉक्टर शिवकुमार संतपुरे और उनकी टीम ने 13.5 घंटे के भीतर 42 मरीजों के घुटने का ट्रांसप्लांट कर एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में अपना नाम दर्ज कराया। इससे पहले दिल्ली के फॉर्टिस अस्पताल में डॉक्टर राजगोपाल ने 24 घंटे में 33 घुटनों ट्रांसप्लांट कर रिकॉर्ड बनाया था, लेकिन अब यह नया रिकॉर्ड संभाजीनगर के डॉक्टरों ने तोड़ दिया है। रिकॉर्ड को दर्ज करने के लिए एशिया बुक रिकॉर्ड की कोऑर्डिनेटर रेखा सिंह सुबह से ही अस्पताल में मौजूद थीं।

13.5 घंटे तक चला ऑपरेशन

डॉक्टर शिवकुमार संतपुरे और उनकी टीम ने सुबह 5:30 बजे से मरीजों को तैयार करना शुरू किया और 7 बजे से ऑपरेशन शुरू हुआ। यह सर्जरी लगातार 13.5 घंटे तक चली, जिसमें 11 मरीजों के दोनों घुटने और 20 मरीजों के एक-एक घुटने का सफल ट्रांसप्लांट किया गया। डॉक्टरों ने बताया कि सभी ऑपरेशन सुरक्षित रूप से किए गए और किसी भी मरीज को कोई परेशानी नहीं हुई। मरीजों की सेहत भी अब पूरी तरह ठीक है। इस रिकॉर्ड को बनाने के लिए एक हफ्ते पहले से तैयारी की जा रही थी। डॉक्टरों और स्टाफ ने मिलकर मॉक ड्रिल भी किए, ताकि सर्जरी सुचारू रूप से हो सके।

डॉक्टरों और स्टाफ का शानदार टीमवर्क

इस ऐतिहासिक उपलब्धि पर डॉक्टर शिवकुमार संतपुरे ने कहा कि यह टीमवर्क का नतीजा है और सभी स्टाफ ने इसमें पूरा सहयोग दिया। उन्होंने बताया कि सुबह 7 बजे से लेकर रात 9 बजे तक ऑपरेशन चलता रहा और पूरी प्रक्रिया को बेहद सावधानी से किया गया। इस रिकॉर्ड के बाद कमलनयन बजाज अस्पताल का नाम चिकित्सा जगत में एक नई ऊंचाई पर पहुंच गया है। यह उपलब्धि न केवल अस्पताल बल्कि पूरे महाराष्ट्र के लिए गर्व की बात है।


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