TrendingIndigoGoasir

---विज्ञापन---

Monkey Pox Alert: AIIMS की गाइडलाइंस जारी, मरीज में ऐसे लक्षण दिखें तो तुरंत करें आइसोलेट

Monkey Pox Alert: दुनिया के कई देश इस वक्त एमपॉक्स वायरस को लेकर एलर्ट पर है। देश में भी इस वायरस के फैलने का खतरा है। दिल्ली एम्स ने मंकीपॉक्स के संदिग्ध मरीजों के लिए एक एसओपी तैयार की है। दिल्ली के इन तीन अस्पतालों को मंकीपॉक्स के इलाज के लिए नोडल हॉस्पिटल बनाया जाएगा।

Monkeypox Virus latest Update
Delhi AIIMS Alert for MPox: एमपॉक्स के मामले तेजी से पूरी दुनिया में बढ़ रहे हैं। इसको लेकर पूरी दुनिया में सतर्कता बरती जा रही है, भारत भी एमपॉक्स को लेकर पूरी सावधानी बरत रहा है। इसी बीच दिल्ली एम्स ने भी देश में हेल्थ अलर्ट जारी किया है। एम्स ने संदिग्ध मरीजों के लिए एक एडवाइजरी की जारी है। मंकीपॉक्स के इलाज के लिए दिल्ली के इन तीन अस्पतालों को नोडल अस्पताल बनाया जाएगा। एमपॉक्स चेचक जैसे लक्षणों वाली एक गंभीर बीमारी है। ऐसे लक्षण दिखने पर मरीज को आइसोलेट किया जाएगा।

इन लक्षणों से पहचान करें

एम्स द्वारा जारी गाइडलाइन के मुताबिक, मरीज को तेज बुखार, सिरदर्द, मांसपेशियों में दर्द, ठंड लगना, थकावट और विशिष्ट त्वचा के घाव (मैकुलोपापुलर दाने) दिखने पर मंकीपॉक्स की जांच की जाएगी। पुष्टि होने पर मरीज को स्पेशल वार्ड में भर्ती किया जाएगा। [caption id="attachment_797524" align="aligncenter" ] Mpox[/caption]

ये हैं तीन अस्पताल

एडवाइजरी के अनुसार, दिल्ली के आरएमएल, लेडी हार्डिंग और सफदरजंग अस्पताल को एमपॉक्स इलाज के लिए नोडल हॉस्पिटल बनाया जाएगा। इसके लिए एक खास एसओपी भी तैयार की गई है। एम्स में एबी-7 बेड नं. 33, 34, 35, 36 और 37 को मंकीपॉक्स मरीजों के लिए रिजर्व किया गया है। ये बेड इमरजेंसी सीएमओ की सिफारिश पर मंकी पॉक्स रोगियों को आवंटित किए जाएंगे। मेडिसिन विभाग मरीजों का इलाज करेगा तथा एबी-7 मरीजों के लिए तब तक अस्थायी वार्ड होंगे जब तक कि उसे किसी अन्य अस्पताल में रेफर नहीं किया जाता। ये भी पढ़ें-  Mpox Virus को लेकर कितना तैयार है भारत? पाकिस्तान में केस कन्फर्म होने से मचा हड़कंप

सफदरजंग अस्पताल बनेगा नोडल अस्पताल

दिल्ली एम्स द्वारा जारी एडवाइजरी के नियमानुसार एमपॉक्स की रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद मरीज को आगे के इलाज के लिए सफदरजंग अस्पताल ट्रांसफर किया जाएगा, मरीजों के लिए स्पेशल एंबुलेंस का भी बंदोबस्त किया गया है। इलाज के दौरान काम कर रहें कर्मचारियों को पीपीई किट का उपयोग करना होगा ताकि संक्रमित होने से बच सके।

कितना बढ़ रहा है एमपॉक्स का खतरा

WHO  ने पूरी दुनिया में इसको लेकर सावधानी बरतने को कहा है, फिलहाल दक्षिण अफ्रीका में इसके मामले सबसे ज्यादा पाए जा रहे हैं। यहां 40,000 से ज्यादा मरीजों की पुष्टि हो चुकी है और 500 से अधिक मरीजों की मौत हो चुकी है। पाकिस्तान में भी एमपॉक्स का 1 मरीज पाया गया था। भारत में इस वायरस को फैलने से रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग ने पहले से ही सभी तैयारियां कर ली है।

एमपॉक्स की सूचना कैसे दें

जारी की गई गाइडलाइंस के तहत एमपॉक्स की सूचना देने के लिए लक्षणों की पहचान होने पर इंटीग्रेटेड डिजीज सर्विलांस प्रोग्राम (आईडीएसपी) के अधिकारियों से  संपर्क करना होगा। आप इस नंबर पर 8745011784 संपर्क कर सकते हैं। साथ ही, मरीज के विवरण, संक्षिप्त इतिहास, क्लिनिकल फाइंडिंग्स और संपर्क का विवरण भी देना होगा।
ये भी पढ़ें- Cancer Causes: कॉफी से बढ़ता है कैंसर का खतरा, जानें क्या कहती है रिसर्च?


Topics:

---विज्ञापन---