जानी मानी हेल्थ और हर्बल प्रोडक्ट कंपनी पतंजलि ने अपने होम और पर्सनल केयर बिजनेस को टेकओवर कर लिया है। इसके बारे में कंपनी के चीफ एग्जीक्यूटिव ऑफिसर संजीव अस्थाना ने दावा किया है कि पतंजलि फूड्स लिमिटेड को वित्त वर्ष 2025 के अंत तक नए व्यवसाय से 1,100 करोड़ रुपये का राजस्व जनरेट कर सकता है। बता दें कि अक्टूबर में कॉम्पिटिशन कमिशन ऑफ इंडिया ने पतंजलि आयुर्वेद के होम और पर्सनल केयर या HPC बिजनेस को पतंजलि फूड्स को टेकओवर करने को मंजूरी दी थी। आइए जानते हैं कि कंपनी का फ्यूचर प्लान के बारे में जानते हैं।
इंटरव्यू में मिली जानकारी
एनडीटीवी को इंटरव्यू देते हुए कंपनी के चीफ चीफ एग्जीक्यूटिव ऑफिसर संजीव अस्थाना ने कहा कि HPC बिजनेस को 1 नवंबर से पतंजलि फूड्स में इंटीग्रेट कर दिया गया है। उन्होंने आगे बताया कि हमारी सेल पूरी गति से जारी है और हमें पूरा विश्वास है कि यह इंटीग्रेशन सफलतापूर्वक हो जाएगा। हम इस तिमाही से रिजल्ट की रिपोर्टिंग शुरू करेंगे। इस तिमाही के लिए हमें एचपीसी बिजनेस के दो महीने के परिणाम भी मिलेंगे।
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1,100 करोड़ रुपये का रेवेन्यू
पतंजलि आयुर्वेद से व्यवसाय का ओवरटेक करने के बाद पतंजलि फूड्स को इस वित्त वर्ष में HPC सेगमेंट में व्यवसाय करने के लिए पांच महीने का समय मिला है। अस्थाना ने यह भी बताया कि व्यवसाय आमतौर पर लगभग 225 करोड़ रुपये का मासिक राजस्व जनरेट करता है, जिससे पांच महीनों के लिए अनुमानित राजस्व 1,100 करोड़ रुपये हो जाता है। पतंजलि फूड्स के सीईओ को आने वाली तिमाहियों में बढ़ती इनपुट लागत के बीच मार्जिन पर दबाव की आशंका है। अस्थाना ने कहा कि कंपनी ने 800 करोड़ रुपये से 900 करोड़ रुपये (रेवेन्यू) निश्चित रूप से दिए गए हैं। ऐसे में कुछ बदलावों को छोड़कर, हम 1,100 करोड़ रुपये भी छू सकते हैं, जिसके बारे में हमें पूरा भरोसा है। पतंजलि फूड्स के सीईओ ने कहा कि वित्त वर्ष 2026 से कंपनी को एचपीसी कारोबार में सालाना आधार पर 15% की वृद्धि की उम्मीद है।
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