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महिला के गर्भाशय से निकला 5 किलो का ट्यूमर, देख उड़े डॉक्टरों के होश, लखनऊ में 4 घंटे चला ऑपरेशन

Rare Surgery of Woman: उत्तर प्रदेश की एक महिला को डॉक्टरों ने दुर्लभ सर्जरी करके नया जीवनदान दिया है। उसकी सर्जरी करीब 4 घंटे चली और इस दौरान महिला के परिजनों की सांसें अटकी रहीं, क्योंकि ऑपरेशन काफी रिस्की थी, लेकिन सक्सेसफुल रहा।

Rare Surgery of Woman
Rare Surgery on Woman in Lucknow: एक महिला के गर्भाशय से सर्जरी के दौरान ऐसी चीज निकली, जिसके देखकर डॉक्टरों के भी होश उड़ गए। यह सर्जरी उत्तर प्रदेश के लखनऊ जिले के सिविल अस्पताल में हुई। करीब 4 घंटे चली इस सर्जरी में महिला के गर्भाशय से 5 किलो का ट्यूमर निकाला गया, जो गर्भाशय से चिपका हुआ था। इस ट्यूमर को मेडिकल टर्म में सब सिरोसल फाइब्राइड कहते हैं। इस ट्यूमर को निकालकर डॉक्टरों ने महिला को नया जीवनदान दिया है। उसकी हालत अब खतरे से बाहर है और वह रिकवरी मोड में है। अस्पताल के चीफ मेडिकल ऑफिसर डॉ. राजेश श्रीवास्तव ने इस सर्जरी की पुष्टि की। सर्जरी डॉ. आनंद मिश्रा के साथ उनकी टीम रेजिडेंट डॉ. सचिन कुमार, एनेस्थीसिया स्पेशलिस्ट डॉ. एसके सिंह, OT टेक्नीशियन सुदेश कुमार और सविता चौधरी ने की। यह भी पढ़ें:अंतरिक्ष में एक और इतिहास रचेगा ISRO; स्पैडेक्स मिशन से भारत के अचीवमेंट का खास कनेक्शन

दूसरी बार कराई महिला ने ट्यूमर की सर्जरी

अस्पताल के चीफ मेडिकल ऑफिसर डॉ. राजेश श्रीवास्तव ने बताया कि जिस महिला की सर्जरी हुई है, वह देवरिया की रहने वाली है और उसकी उम्र करीब 50 साल है। ट्यूमर का साइज काफी बड़ा था और यह दिल से पैर तक खून पहुंचाने वाली नस से चिपका हुआ था। इस ट्यूमर के कारण महिला को यूरिन डिस्चार्ज में काफी दिक्कत हो रही थी। उसे कब्ज और जलन के साथ असहनीय दर्द था। महिला एनिमिक भी थी, इसलिए उसे खून भी चढ़ाना पड़ा। ट्यूमर का आकार इसलिए बढ़ रहा था, क्योंकि उसे इनफिरिअर वेनाकोवा (IVC) से खून मिल रहा था। इस ट्यूमर से महिला की आंत, एब्डामल एरोटा धमनी और यूरेटर दब रहा था। महिला पहले ट्यूमर की सर्जरी करा चुकी थी, लेकिन यह जड़ से खत्म नहीं हुआ था। ट्यूमर फिर से बढ़ गया और इस बार उसका आकार पहले से ज्यादा हो गया था। यह भी पढ़ें:कैलिफोर्निया में भड़की आग पर डराने वाली भविष्यवाणी का वीडियो वायरल, जानें Joe Rogan ने क्या कहा था? हीमोग्लोबिन कम होने से चढ़ाना पड़ा खून डॉ. राजेश ने बताया कि महिला की हालत देखकर परिजन उसे सिविल अस्पताल की OPD लेकर आए। यहां महिला का अल्ट्रासाउंड और CT स्कैन कराकर ट्यूमर की स्थिति पता की गई। फिर परिवार की सहमति लेकर सर्जरी की तैयारी की गई। सर्जरी के दौरान एनिमिक होने के कारण महिला का हीमोग्लोबिन नॉर्मल से काफी नीचे चला गया था, इसलिए उसे एक यूनिट ब्लड चढ़ाया गया। करीब 4 घंटे महिला के परिजनों और डॉक्टरों की टीम की जान अटकी रही, लेकिन सब्र रंग लाया और सर्जरी सक्सेसफुल हो गई। यह भी पढ़ें:गुजारे भत्ते पर सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला; जानें किस केस का किया निपटारा और क्या था विवाद?


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