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दिल्ली में यमुना फिर खतरे के निशान के पार, राष्ट्रीय राजधानी में बाढ़ की आशंका को लेकर हाई अलर्ट

Delhi Weather Update: दिल्ली सरकार एक बार फिर बाढ़ की आशंका को लेकर हाई अलर्ट पर है। रविवार यानी आज सुबह 7 बजे यमुना का जलस्तर खतरे के निशान को पार कर गई। सुबह यमुना का जलस्तर 205.81 मीटर दर्ज किया गया। उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश के कुछ हिस्सों में भारी बारिश के बाद हथिनीकुंड बैराज […]

दिल्ली में जुलाई के पहले सप्ताह में बाढ़ ने जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया था। -फाइल फोटो
Delhi Weather Update: दिल्ली सरकार एक बार फिर बाढ़ की आशंका को लेकर हाई अलर्ट पर है। रविवार यानी आज सुबह 7 बजे यमुना का जलस्तर खतरे के निशान को पार कर गई। सुबह यमुना का जलस्तर 205.81 मीटर दर्ज किया गया। उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश के कुछ हिस्सों में भारी बारिश के बाद हथिनीकुंड बैराज से 2 लाख क्यूसेक से अधिक पानी छोड़े जाने के कारण यमुना में जल स्तर लगातार बढ़ रहा है।

राहत और पुनर्वास कार्य प्रभावित होने की आशंका

अधिकारियों ने शनिवार को कहा कि दिल्ली में यमुना का जलस्तर बढ़ने से राष्ट्रीय राजधानी के बाढ़ प्रभावित निचले इलाकों में राहत और पुनर्वास कार्य प्रभावित होने की संभावना है। उन्होंने कहा कि वर्तमान स्थिति ने चिंताएं बढ़ा दी हैं। उधर, दिल्ली के राजस्व मंत्री आतिशी ने भी प्रतिक्रिया दी है।

मंत्री बोलीं- रविवार शाम तक खतरे को पार कर सकती है यमुना

मंत्री आतिशी ने कहा कि केंद्रीय जल आयोग के नवीनतम अपडेट के अनुसार, ऐसी संभावना है कि रविवार शाम तक यमुना में जल स्तर खतरे के निशान को पार कर सकता है। सरकार घटनाक्रम पर बारीकी से नजर रख रही है। आतिशी ने यह भी घोषणा की कि यदि जल स्तर 206.7 तक बढ़ जाता है तो यमुना खादर के कुछ हिस्सों में बाढ़ का सामना करना पड़ सकता है। उन्होंने कहा, दिल्ली सरकार इन संवेदनशील इलाकों में तत्काल निकासी करने के लिए पूरी तरह तैयार है। संभावित बाढ़ प्रभावित इलाकों में नियमित रूप से लोगों को सचेत किया जा रहा है और उन्हें अलर्ट रहने को कहा जा रहा है। उन्होंने कहा कि राहत शिविरों का गहन निरीक्षण किया गया है और व्यापक तैयारी की गई है। स्थिति से निपटने के लिए अधिकारियों ने मध्य जिले, पूर्वी जिले या यमुना बाजार और यमुना खादर जैसे क्षेत्रों में पर्याप्त तैयारी सुनिश्चित की है।

जनता से सतर्क रहने और अधिकारियों के साथ सहयोग करने की अपील

मंत्री ने कहा कि इस महत्वपूर्ण समय के दौरान जनता से सतर्क रहने और अधिकारियों के साथ सहयोग करने की अपील की जा रही है। उन्होंने कहा कि लोगों को उभरती स्थिति के बारे में सूचित रखने के लिए अपडेट और सलाह नियमित रूप से प्रदान की जाएगी। दिल्ली सिंचाई एवं बाढ़ नियंत्रण विभाग के अधिकारियों ने भी दिल्ली के ऊपरी हिस्से में भारी बारिश की चेतावनी दी है। उन्होंने कहा कि इससे राजधानी के जलमग्न निचले इलाकों में प्रभावित परिवारों के पुनर्वास पर असर पड़ सकता है और उन्हें लंबे समय तक राहत शिविरों में रहना पड़ सकता है।

शहर में पानी की आपूर्ति पर भी पड़ सकता है असर

अधिकारियों के मुताबिक, भारी बारिश के बाद बाढ़ का असर शहर में पानी की आपूर्ति पर भी पड़ सकता है। बता दें कि दिल्ली में पहले आई बाढ़ के बाद वजीराबाद पंप हाउस में पानी भर गया था जो करीब चार से पांच तक दिन प्रभावित हुआ है। पिछले मंगलवार को ही पंप हाउस सामान्य हो पाया था। पंप हाउस वज़ीराबाद, चंद्रावल और ओखला ट्रीटमेंट प्लांट को पानी की आपूर्ति करता है, जो शहर की आपूर्ति का लगभग 25 प्रतिशत है। बता दें कि दिल्ली के कुछ हिस्से पिछले एक सप्ताह से अधिक समय से जलभराव और बाढ़ से जूझ रहे हैं। शुरुआत में 8 और 9 जुलाई को भारी बारिश के कारण भारी जलभराव हुआ था। हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और हरियाणा समेत यमुना के ऊपरी इलाकों में भारी बारिश के कारण यमुना नदी का जलस्तर रिकॉर्ड स्तर तक बढ़ गया। 13 जुलाई को जलस्तर 208.66 मीटर पर पहुंच गया था। बाढ़ के कारण करीब 27,000 से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया। दिल्ली सरकार के मुताबिक, जलभराव की स्थिति के कारण संपत्ति, व्यवसाय और कमाई के मामले में नुकसान करोड़ों तक पहुंच गया है।

25 जुलाई तक हिमाचल, उत्तराखंड में भारी बारिश की भविष्यवाणी

इस बीच, भारत मौसम विज्ञान विभाग ने 25 जुलाई तक हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड के कुछ हिस्सों में भारी से बहुत भारी बारिश की भविष्यवाणी की है।


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