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IND vs AUS: ‘जब मैंने उन्हें रोते हुए देखा तो…’, पिता के बलिदान को याद करते हुए नीतीश रेड्डी ने कही ये बात

Nitish Reddy: नीतीश कुमार रेड्डी ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ चौथे मैच में अपने टेस्ट करियर का पहला शतक बनाया। उनके इस शतक से भारत चौथे टेस्ट में वापसी करने में सफल रहा।

Nitish Reddy Test Century: भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच मेलबर्न में चौथा टेस्ट मैच खेला जा रहा है। इस टेस्ट मैच के तीसरे दिन टीम इंडिया के युवा ऑलराउंडर नितीश कुमार रेड्डी ने इतिहास रच दिया है। उन्होंने बॉक्सिंग टेस्ट मैच में अपने करियर का पहला शतक ठोक दिया है। इसी के साथ वह ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ उसके घर में शतक जमाने वाले तीसरे सबसे युवा भारतीय बल्लेबाज बन गए हैं। नीतीश कुमार रेड्डी के लिए ये शतक बहुत ज्यादा खास है क्योंकि इसे देखने के लिए उनके पिता स्टैंड में बैठे हुए थे। अपने बेटे को देखकर उनकी आंखों में भी आंसू गए थे।

'हमारे लिए ये पल खास है'

मैच के दौरान नीतीश के पिता ने एडम गिलक्रिस्ट को इंटरव्यू दिया था। इस दौरान उन्होंने कहा, "वो अपने स्टेट के लिए अंडर-14, अंडर-15 से खेल रहा है। अब वो इंटरनेशनल क्रिकेट में देश के लिए खेल रहा है। ये हमारे लिए खास पल है।   इस दौरान ग्रिलक्रिस्ट ने उनसे पूछा कि जब नीतीश 99 रनों पर नॉन स्ट्राइकर छोर पर थे और मोहम्मद सिराज स्ट्राइक पर थे और सिर्फ एक ही विकेट बचा था तो उन्हें क्या लग रहा था? इस सवाल जवाब देते हुए नीतीश के पिता ने कहा, "बहुत, बहुत टेंशन थी सर। सिर्फ आखिरी विकेट रह गया था और सिराज स्ट्राइक पर थे, टेंशन ही टेंशन थी।"  

पिता ने किए हैं बहुत त्याग

नीतीश कुमार रेड्डी के लिए यहां तक पहुंचना आसान नहीं था। नीतीश कुमार रेड्डी ने बताया कि उनके पिता ने उनके लिए काफी त्याग किए हैं। बीसीसीआई टीवी पर एक वीडियो में नीतीश ने कहा, "ईमानदारी से कहूं तो मैं जब छोटा था, तब मैं गंभीर नहीं था। मेरे पिता ने मेरे लिए अपनी नौकरी छोड़ दी और मेरी इस सफलता के पीछे उन्होंने बहुत त्याग किए हैं। एक दिन मैंने उन्हें वित्तीय समस्याओं के कारण रोते हुए देखा और मैंने सोचा कि वो इस तरह से नहीं रह सकते और फिर मैं गंभीर हो गया। जब मैंने अपनी पहली जर्सी उन्हें दी और उनके चेहरे पर मैंने खुशी देखी थी।"


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