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चीख पुकार, ढहती इमारतें-मकान, 132 मौत…6.4 तीव्रता ने याद दिलाए 8 साल पहले के खौफनाक पल

Nepal Earthquake Recalls Memory: नेपाल में 3 नवंबर 2023 की रात आए भूकंप ने साल 2015 में आए उस भूकंप की यादें ताजा कर दीं, जिसमें 9 हजार लोग मारे गए थे, जानिए उस भूकंप के बारे में...

Nepal Earthquake Collapsed Buildings
Nepal Earthquake Recalls Memory Of 2015 Earthquake: नेपाल में शुक्रवार देर रात आए भूकंप ने भीषण तबाही मचाई है। शुक्रवार (3 नवंबर) रात करीब साढ़े 11 बजे के करीब रिक्टर स्केल पर 6.4 की तीव्रता का भूकंप आया, जिस वजह से 132 लोगों की मौत हुई। 1100 से ज्यादा लोग घायल हुए। कई मकान क्षतिग्रस्त हो गए। भूकंप के झटके दिल्ली-NCR समेत उत्तर भारत के कई हिस्सों में महसूस किए गए। राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान (NCS) के मुताबिक, भूकंप का केंद्र जाजरकोट जिले के लामिडांडा क्षेत्र में नेपाल में अयोध्या से लगभग 227 किलोमीटर उत्तर और काठमांडू से 331 किलोमीटर पश्चिम उत्तर-पश्चिम में 10 किलोमीटर की गहराई में था। नेपाल में एक महीने में तीसरी बार तेज भूकंप आया, जिसने एक बार फिर नेपाल में अफरा तफरी मचा दी। हर तरफ चीख पुकार मची थी और इस भूकंप ने 8 साल पुरानी वो यादें ताजा कर दीं, जब आए भूकंप में नेपाल में हजारों लोग मारे गए थे। < >

नेपाल में 3 अक्टूबर 2023 को भी आया था भूकंप

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पिछले महीने 3 अक्टूबर को भी भूंकप आया था, जिसकी तीव्रता 6.2 रही थी। एक महीने में यह तीसरी बार है, जब नेपाल में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। बता दें कि पिछले साल नवंबर में भूकंप आया था। उससे पहले अप्रैल 2015 में भूकंप हुआ था, जिसमें करीब 9 हजार लोग मारे गए थे। हजारों लोग घायल हुए थे। नेपाल के कई इलाके तबाह हो गए थे। लोगों के घर ढह गए थे। पूरी दुनिया में ताश के पत्तों की तरह ढहती इमारतें देखीं। लोगों को मरते देखा। मलबे के नीचे से निकलती लाशें देखीं। करीब 6 लाख लोग बेघर हुए थे। 25 अप्रैल की रात आए भूकंप को गोरखा नाम दिया गया था। करीब 7.8 की तीव्रता का भूकंप था, जिसका केंद्र लामजंग से लगभग 21 मील (34 किलोमीटर) पूर्व-दक्षिण पूर्व और काठमांडू से 48 मील (77 किलोमीटर) दूर उत्तर-पश्चिम में था। इसकी गहराई भी करीब 9.3 मील (लगभग 15 किलोमीटर) थी, जिसमें भीषण तबाही मचाई थी। < >

1988 और 1934 में भी आ चुके तबाही मचाने वाले भूकंप

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, नेपाल में 2015 के भूकंप से पहले सबसे बड़ा भूकंप 6.9 की तीव्रता का 1988 में आया था, जिसमें 1500 लोग मारे गए थे। 1934 में 8 की तीव्रता का भूकंप आया था, जिसमें 10600 लोग मारे गए थे। इसके बाद 2022 में जो भूकंप आया था, उसकी तीव्रता 6.3 थी, जिसमें 6 लोग मारे गए थे। 9 नवंबर 2022 की रात करीब 2 बजे आए भूकंप का केंद्र नेपाल ही थी और एपिसेंटर उत्तराखंड के पिथौरागढ़ से 90 किलोमीटर दूर पूर्व-दक्षिण-पूर्व नेपाल के मणिपुर में रहा। इसकी गहराई जमीन से 10 किलोमीटर नीचे थी। वहीं नेपाल में भूकंप आना आम बात कहा जाता है, आखिर क्यों, क्योंकि नेपाल हिमायली क्षेत्र में बसा देश है। इस एरिया में इंडिया के नीचे धरती वाली प्लेट्स यूरेशियन प्लेट्स के नीचे हैं, जो हर 5 सेंटीमीटर पर दबती हैं। इनके टकराने से कंपन पैदा होने से हिमालय ऊपर को उठता है, जिससे वह डगमगाने लगता है।


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