नए वक्फ संशोधन कानून पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला अभी आना बाकी है। इस बीच सरकार ने एक बड़ा कदम उठाते हुए वक्फ संपत्तियों के रजिस्ट्रेशन के लिए एक कानूनी पोर्टल आज लॉन्च किया है। इस पोर्टल में सभी वक्फ संपत्तियों की जानकारी देना अनिवार्य होगा।
संसद द्वारा पारित नए वक्फ कानून के तहत केंद्रीय अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरेन रिजीजू ने UMEED यानी यूनिफाइड वक्फ मैनेजमेंट एफिशिएंसी एंड एंपावरमेंट एक्ट 1995 पोर्टल को आज लॉन्च किया। सरकार ने पिछले संसद सत्र के दौरान वक्फ कानून 1995 में संशोधन किया गया, सरकार की तरफ से इसे 'उम्मीद' नाम दिया गया है। पुरानी वक्फ संपत्तियों की जानकारी इस पोर्टल पर देनी होगी और 8 अप्रैल 2025 के बाद दान की गई संपत्तियों को इस पोर्टल पर रजिस्टर करना अनिवार्य होगा।
नया कानून 8 अप्रैल 2025 से लागू होगा। उस दिन से पहले देश में मौजूद सभी वक्फ संपत्तियों की जानकारी छह महीने के भीतर पोर्टल पर अपलोड करना अनिवार्य होगा। सेक्शन 5 के तहत औकाफ (वक्फ दान करने वालों) की सूची भी अपलोड करनी होगी। सेक्शन 36 के तहत नए वक्फ के रजिस्ट्रेशन के लिए आवेदन पोर्टल पर करना होगा। औकाफ यानी दान करने वालों की जानकारी के लिए रजिस्टर का रखरखाव भी करना होगा। वक्फ की देखभाल करने वाले मुतवल्ली के खातों का रखरखाव और उसकी जानकारी भी पोर्टल पर देनी होगी।
अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरेन रिजीजू ने कहा कि कुछ लोगों ने इस कानून का दुरुपयोग करने का रास्ता खोजा था, उनका अपना स्वार्थ था, लेकिन अब कानून बन चुका है। इससे गरीब मुसलमानों को फायदा होगा। सभी को इसमें सहयोग करना चाहिए। कई लोग जानकारी के अभाव में इसका विरोध कर रहे थे, लेकिन अब ऐसा नहीं होना चाहिए।
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आपको बता दें कि नए वक्फ संशोधन कानून को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई है, जिस पर सुनवाई पूरी हो चुकी है लेकिन फैसला अभी आना बाकी है। अब सबकी निगाहें सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर टिकी हैं कि फैसला किसके पक्ष में आएगा। ऐसे में सवाल उठता है कि नए वक्फ कानून पर मुस्लिम संगठनों और विपक्षी दलों का विरोध जारी रहेगा या मामला शांत हो जाएगा।