नई दिल्ली: देश में पिछले छह सालों में दालों के उत्पादन में तेजी से वृद्धि आई है। हम कुछ दालों का निर्यात और आयात भी कर रहे हैं। हमें केवल मसूर और अरहर की दालों में कमी है। इसके अलावा हम अन्य दालों के मामले में आत्मनिर्भरता के बहुत करीब हैं। रविवार को नई दिल्ली में नीति आयोग की सातवीं बैठक के बाद नीति आयोग के सदस्य रमेश चंद ने यह बात कही।
आगे उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने कृषि विविधीकरण के महत्व को व्यक्त किया और खाद्य तेलों में विशेष रूप से आत्मनिर्भर होने की आवश्यकता जताई है। वह बोले की हम आयात से खाद्य तेल की अपनी कुल मांग का लगभग आधा हिस्सा पूरा कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि बैठक में सभी राज्यों का सहयोग मिला।
परिवर्तनकारी होगा
नीति आयोग के सदस्य वीके पॉल ने नेशनल एजुकेशन पॉलिसी पर कहा कि इस पर सभी राज्यों में मजबूत सहमति है। उन्होंने कहा कि बैठक में लगभग सभी मुख्यमंत्रियों ने एक के बाद एक इस संबंध में अपने द्वारा उठाए गए कदमों की बात की। एनईपी पर विभिन्न राज्यों में कई प्रोत्साहन दिए जा रहे हैं। जो आने वाले समय में वास्तव में परिवर्तनकारी होगा।