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सावधान! लापरवाही से खाली हो सकते हैं सारे अकाउंट, आप भी तो नहीं कर रहे पासवर्ड से जुड़ी ये गलती?

अगर आप हर वेबसाइट पर एक ही पासवर्ड इस्तेमाल करते हैं, तो एक छोटे डेटा लीक से आपका ईमेल, बैंक अकाउंट, सोशल मीडिया और ऑफिस सिस्टम तक हैकर्स पहुंच बना सकते हैं. ऐसे में यहां जानते हैं खुद को सुरक्षित रखने के आसान व असरदार तरीके कौन-से हैं.

पासवर्ड से जुड़ी एक गलती पड़ सकती है भारी. (Photo-NCA)

Same password risk: आज की डिजिटल दुनिया में हम दर्जनों वेबसाइट और ऐप इस्तेमाल करते हैं. लेकिन अगर आप हर जगह एक ही पासवर्ड रखते हैं, तो यह सुविधा नहीं बल्कि सबसे बड़ी गलती बन सकती है. एक छोटी-सी वेबसाइट पर हुआ डेटा लीक आपके ईमेल, बैंक अकाउंट, सोशल मीडिया और ऑफिस सिस्टम तक का रास्ता खोल सकता है. आपकी ऑनलाइन सुरक्षा उतनी ही कमजोर होती है, जितना आपका सबसे कमजोर पासवर्ड.

कम सुरक्षित वेबसाइट से बनाते हैं निशाना

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अक्सर हैकर्स पहले किसी छोटी या कम सुरक्षित वेबसाइट को निशाना बनाते हैं, जैसे कोई ऑनलाइन स्टोर या छोटा ऐप. वहां से वे यूजरनेम और पासवर्ड की पूरी लिस्ट चुरा लेते हैं. यूजर को कई बार इसका पता भी नहीं चलता कि उसका डेटा पहले ही लीक हो चुका है.

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क्रेडेंशियल स्टफिंग क्या होती है

डेटा मिलने के बाद हैकर्स ऑटोमेटेड टूल्स की मदद से वही यूजरनेम और पासवर्ड बड़े प्लेटफॉर्म्स पर आजमाते हैं, जैसे गूगल, अमेजन या बैंक की वेबसाइट. इस प्रक्रिया को क्रेडेंशियल स्टफिंग कहा जाता है. अगर आपने हर जगह एक ही पासवर्ड रखा है, तो लॉगिन तुरंत सफल हो जाता है. 

बस फिर एक अकाउंट खुलते ही हैकर्स को बाकी अकाउंट्स तक पहुंच मिल जाती है. जैसे ही ईमेल कंट्रोल में आता है, वे बाकी सेवाओं के पासवर्ड रीसेट कर लेते हैं. 

पहचान की चोरी का खतरा

जब हैकर्स आपके अकाउंट्स में घुस जाते हैं, तो वे आपकी निजी जानकारी, फोटो, डॉक्यूमेंट और क्लाउड डेटा चुरा सकते हैं. इसी जानकारी का इस्तेमाल करके आपकी पहचान के नाम पर फ्रॉड किया जा सकता है, जो लंबे समय तक परेशानी का कारण बनता है.

पैसों का सीधा नुकसान

बैंकिंग या शॉपिंग अकाउंट्स तक पहुंच मिलने पर हैकर्स फर्जी ट्रांजैक्शन कर सकते हैं, खरीदारी कर सकते हैं या आपका पैसा निकाल सकते हैं. कई बार नुकसान तब पता चलता है, जब अकाउंट खाली हो चुका होता है.

ईमेल हैक होना सबसे खतरनाक क्यों है

ईमेल आपका डिजिटल कंट्रोल सेंटर होता है. अगर यह हैक हो गया, तो हैकर बाकी सभी अकाउंट्स के पासवर्ड रीसेट लिंक हासिल कर लेता है. इसके बाद सोशल मीडिया से लेकर बैंक तक सब कुछ उसके हाथ में चला जाता है.

ऑफिस और काम से जुड़ा जोखिम

अगर आपका वर्क ईमेल या ऑफिस सिस्टम भी उसी पासवर्ड से जुड़ा है, तो कंपनी का डेटा भी खतरे में पड़ सकता है. इससे न सिर्फ आपकी नौकरी, बल्कि पूरी संस्था को नुकसान हो सकता है.

हर अकाउंट के लिए अलग पासवर्ड क्यों जरूरी है

हर वेबसाइट के लिए अलग और मजबूत पासवर्ड रखने से एक अकाउंट हैक होने पर भी बाकी अकाउंट सुरक्षित रहते हैं. यह छोटी-सी आदत बड़े खतरे को रोक सकती है.

पासवर्ड मैनेजर का सही इस्तेमाल

जटिल और अलग-अलग पासवर्ड याद रखना मुश्किल होता है. इसके लिए पासवर्ड मैनेजर जैसे Bitwarden या LastPass मदद करते हैं. ये मजबूत पासवर्ड खुद बनाते हैं और सुरक्षित तरीके से सेव रखते हैं.

टू-फैक्टर ऑथेंटिकेशन जरूरी

MFA या 2FA एक अतिरिक्त सुरक्षा परत है, जैसे मोबाइल पर आया कोड या फिंगरप्रिंट. पासवर्ड लीक होने के बाद भी यह हैकर्स को रोक सकता है. खासकर ईमेल, बैंक और सोशल मीडिया अकाउंट पर इसे जरूर चालू रखें.

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