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दुन‍िया के 5 अमीरों के पास 72 लाख करोड़, रोजी रोटी को भी तरसे गरीब, चौंका देगी Oxfam की र‍िपोर्ट

Oxfam report : दुनिया में अमीर और धनवान होते जा रहे हैं तो गरीब और गरीब होते जा रहे हैं। मजदूरों की आर्थिक स्थिति दिन प्रति दिन खराब होती जा रही है।

दावोस में वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम की हुई बैठक में पेश की गई ऑक्सफैम की रिपोर्ट।
Oxfam report In World Economic Forum : दुनिया में अमीर और गरीब के बीच फासला बढ़ता रहा है। दावोस में वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम की हुई बैठक में ऑक्सफैम की रिपोर्ट पेश की गई है, जिसमें कई चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। जहां विश्व के पांच सबसे धनवान लोगों की संपत्ति दो गुनी हो गई है तो वहीं 5 अरब लोगों के सामने वित्तीय संकट की स्थिति उत्पन्न हो गई है। ऑक्सफैम की वार्षिक रिपोर्ट में कोरोना महामारी के बाद उत्पन्न आर्थिक चुनौतियों के बीच फिर से धन संचय करने की चिंताजनक प्रवृत्ति पर फोकस डाला गया है। साल 2020 में दुनिया के पांच सबसे अमीर लोगों की संयुक्त संपत्ति 405 बिलियन डॉलर थी, जोकि पिछले साल 2023 में बढ़कर दोगुनी 869 बिलियन डॉलर हो गई है। इन धन्‍नासेठों ने अलग-अलग तरीकों से संपत्ति जुटाई है। यह भी पढ़ें : Business World Latest update प्राइवेट सेक्टरों ने मजदूरों का शोषण कर जुटाया धन धन जुटाने में सिर्फ ये टॉप फाइव अमीर लोग ही नहीं शामिल हैं, बल्कि कई अरबपति लोगों ने भी जमकर पैसा कमाया है। कुछ अमीरों ने श्रमिकों का शोषण करके धन जुटाया है तो कुछ ने टैक्स चोरी और राज्य कार्यों का निजीकरण करके पैसा कमाया है। दुनिया भर में प्राइवेट सेक्टरों ने धन जुटाने के लिए कम मजदूरी, कम पारदर्शिता और कम टैक्स समेत अन्य उपायों पर फोकस किया है। इनका मकसद सिर्फ अपना खजाना भरना था। 148 कंपनियों ने 1.8 ट्रिलियन डॉलर का कमाया लाभ ऑक्सफैम ने अरबपतियों और करोड़पतियों पर संपत्ति टैक्स लगाने की वकालत की है। उन्होंने कहा कि मजदूरों का वेतन भी निर्धारित होना चाहिए। अनुमान है कि कॉर्पोरेट सेक्टर की टॉप 148 कंपनियों ने 1.8 ट्रिलियन डॉलर का लाभ कमाया है, जोकि 3 साल के औसत से 52 फीसदी ज्यादा है। दुनिया की 1,600 सबसे बड़ी कंपनियों में से सिर्फ 0.4 प्रतिशत प्राइवेट सेक्टरों ने ही मजदूरों को कार्यों के अनुसार वेतन और अन्य सुविधा देने का काम किया है। 800 मिलियन मजदूरों के वेतनों में आई गिरावट वेतन कटौती की वजह से मजदूरों के सामने खाने-पीने और जीवनयापन करने का संकट उत्पन्न हो गया है। विश्वभर में करीब 800 मिलियन मजदूरों के वेतनों में गिरावट दर्ज की गई है। एक कर्मचारी को 25 दिन की वार्षिक आय का नुकसान झेलना पड़ रहा है। इस रिपोर्ट में टेस्ला के सीईओ एलन मस्क, एलवीएमएच के चीफ बर्नार्ड अरनॉल्ट, अमेजन के जेफ बेजोस, ओरेकल के को-फाउंडर लैरी एलिसन और इन्वेस्टर वॉरेन बफेट समेत कई धनवानों की संपत्ति में वृद्धि देखी गई है।


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