पाकिस्तानी नहीं देख सकते भारत की ये 7 फेमस फिल्में

Ashutosh Ojha

हैदर (2014)

कश्मीर संघर्ष पर आधारित यह फिल्म पाकिस्तान में बैन है क्योंकि इसमें पाकिस्तानी सेना को नकारात्मक रूप से दर्शाया किया गया है।

गदर (2001)

यह फिल्म भारत-पाकिस्तान विभाजन और उसके बाद के दंगों पर आधारित है। पाकिस्तान सरकार ने इसे "पाकिस्तान विरोधी" और "मुस्लिम विरोधी" बताते हुए बैन कर दिया था।

भाग मिल्खा भाग (2013)

मिल्खा सिंह के जीवन पर आधारित यह बायोपिक पाकिस्तान में बैन है क्योंकि इसमें भारत-पाकिस्तान युद्ध के कुछ दृश्य दिखाए गए हैं।

रांझणा (2013)

यह फिल्म एक हिंदू लड़के और एक मुस्लिम लड़की के बीच प्रेम कहानी पर आधारित है। पाकिस्तान में इस फिल्म को "मुस्लिम विरोधी" फिल्म मानते हुए बैन कर दिया गया था।

एक था टाइगर  (2013)

यह फिल्म एक भारतीय जासूस और एक पाकिस्तानी एजेंट के बीच प्रेम कहानी पर आधारित है। पाकिस्तान सरकार ने इसे "गैरकानूनी गतिविधियों को बढ़ावा देने वाली" फिल्म मानते हुए बैन कर दिया।

डेली बेली (2011)

यह फिल्म दो दोस्तों की कहानी है जो अपहरण के धंधे में शामिल हो जाते हैं। पाकिस्तान सरकार ने इसे "हिंसक" और "अपराध को बढ़ावा देने वाली" फिल्म मानते हुए बैन कर दिया था।

तेरे बिन लादेन (2010)

यह फिल्म एक ऐसे व्यक्ति की कहानी है जो गलती से ओसामा बिन लादेन के रूप में पहचाना जाता है। पाकिस्तान सरकार ने इसे "आपत्तिजनक" और "पाकिस्तान की छवि को खराब करने वाली" फिल्म मानते हुए बैन कर दिया था।

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