---- विज्ञापन ----
News24
नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने कुछ राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में हिंदुओं को अल्पसंख्यक का दर्जा देने की मांग पर केंद्र सरकार की तरफ से अलग-अलग रुख अपनाने को लेकर नाराजगी जाहिर की है। मामले पर कोर्ट ने सुनवाई को 30 अगस्त तक के लिए टाल दिया है। केंद्र ने राज्यों से चर्चा करने के लिए समय मांगा था, जिसपर कोर्ट ने 3 महीने का समय दिया।
केंद्र ने अपने पहले के रुख को उलटते हुए सोमवार को सुप्रीम कोर्ट से कहा था कि अल्पसंख्यकों को अधिसूचित करने का अधिकार केंद्र सरकार के पास है और इस संबंध में कोई भी फैसला राज्यों और अन्य हितधारकों के साथ चर्चा के बाद लिया जाएगा।
केंद्र ने मार्च में कहा था कि यह राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों (यूटी) के लिए है कि वे हिंदुओं और अन्य समुदायों को अल्पसंख्यक का दर्जा दें या नहीं, जहां उनकी संख्या कम है।
जस्टिस एसके कौल और जस्टिस एमएम सुंदरेश की बेंच ने कहा कि इस तरह के मामले में एक हलफनामा दायर किया जाता है कि केंद्र और राज्य दोनों के पास शक्तियां हैं। बेंच ने कहा, 'बाद में आप कहते हैं कि केंद्र के पास शक्तियां हैं। हमारे जैसे देश में, जिसमें इतनी विविधता है, हम समझते हैं लेकिन किसी को और सावधान रहना चाहिए था। इन हलफनामों को दायर करने से पहले सब कुछ सार्वजनिक डोमेन में होता है जिसके अपने परिणाम होते हैं। इसलिए, आप जो कहते हैं उसमें आपको अधिक सावधान रहना होगा।'
अपने आदेश को निर्देशित करते हुए, पीठ ने कहा, 'अल्पसंख्यक मामलों के मंत्रालय द्वारा एक नया हलफनामा दायर किया गया है, जो पहले के हलफनामे में कही गई बातों का समर्थन करता है। कुछ जिसे हम सराहना के रूप में नहीं देखते। अब यह कहने की मांग की गई है कि न्यायनिर्णयन के लिए मांगे गए प्रश्न का पूरे देश में दूरगामी प्रभाव पड़ा है।'
पीठ ने सुनवाई से तीन दिन पहले स्थिति रिपोर्ट मांगते हुए कहा, 'पहले हलफनामे में पहले ही स्टैंड लिया जा चुका है। लेकिन ताजा हलफनामे के अनुसार, अल्पसंख्यकों की पहचान करने की शक्ति केंद्र सरकार के पास है... उक्त स्थिति होने के नाते, यह आवश्यक है कि केंद्र द्वारा प्रस्तावित के रूप में अभ्यास किया जाए। 30 अगस्त को सुनवाई होगी।'
देश और दुनिया की ताज़ा खबरें सबसे पहले न्यूज़ 24 पर फॉलो करें न्यूज़ 24 को और डाउनलोड करे - न्यूज़ 24 की एंड्राइड एप्लिकेशन. फॉलो करें न्यूज़ 24 को फेसबुक, टेलीग्राम, गूगल न्यूज़.