गाजियाबाद: कैलाश मानसरोवर की यात्रा पर जाने वाले श्रद्धालुओं का एक बड़ा तोहफा मिला है। शिव भक्तों को अब यात्रा के दौरान ना टेंट में और ना ही होटल में रुकने की जरुरत पड़ेगी, क्योंकि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जिसकी घोषणा की थी वो बनकर तैयार हो गया है। सीएम योगी ने गाजियाबाद में कैलाश मानसरोवर भवन का उद्घाटन किया, जो किसी फाइव स्टार होटल से कम नहीं है। अब कैलाश जाने वाले हर भक्तों के लिए इस भवन के दरवाजे खुल गए हैं।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इंदिरापुरम में बने कैलाश मानसरोवर भवन का उद्घाटन कर देश के करोड़ों श्रद्धालुओं को बड़ी सौगात दी। धर्मार्थ कार्य विभाग द्वारा इस भव्य भवन को 70 करोड़ रुपये की लागत से तैयार किया गया। खास यह है कि देशभर से कैलाश मानसरोवर यात्रा और चारधाम यात्रा करने वाले श्रद्धालुओं को यहां फाइव स्टार होटल की तरह सुविधाएं मिलेंगी। यहां पर 280 लोगों के रुकने की व्यवस्था है। यहां रिसेप्शन में जैसे ही आप एंट्री करेंगे, इसकी भव्यता का अंदाजा आपको लग जायेगा।
एंट्रेंस के ठीक बगल में यहां भगवान भोले नाथ का मंदिर बनाया गया है। इसमें 4 शिवलिंग कैलाश मानसरोवर से लाकर स्थापित किया गया है। भवन की सबसे खास बात यहां ठहरने के लिए रूम किसी फाइव स्टार होटल के कम नजर नहीं आता है। हर तरह की सुविधा का खास ध्यान रखा गया है।
यहां बड़ी फैमिली या ज्यादा लोगो के रुकने के लिए 4 बेड वाले रूम भी हैं, जहां टीवी, फ्रीज, वाई फाई हर चीज का खास ध्यान रखा गया है। यहां चार बेड वाले 46 कमरे और डबल बेड वाले 48 कमरों का निर्माण किया गया है। जाहिर है पार्किंग का भी खासा ध्यान रखा गया है। बेसमेंट में 85 गाड़ियों के खड़े करने की सुविधा है। यहां सबसे आकर्षण का केंद्र है मेडिटेशन रूम है, जो बाहर की तरफ है। यहां से पूरे शहर का नज़ारा देखा जा सकता है और साथ में ताज़ी हवा का आनंद भी ले सकते हैं।
धार्मिक यात्रा के लिए निकले श्रद्धालुओं के लिए यहां योग रूम भी बनाया गया, जो बिल्डिंग से थोड़ा सा अलग है। इस बात का ध्यान रखा गया है कि योग के दौरान किसी तरह का कोई शोर नहीं दें और लोग शांति आए साथ योग कर सके। यहां की किचन भी पूरी तरह से हाईटैक है, जिसमें करीब 1000 से ज्यादा लोगों का खाना आसानी से बन सकता है।
अगस्त 2017 को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कविनगर के रामलीला मैदान में जनसभा के दौरान गाजियाबाद में कैलाश मानसरोवर भवन बनवाने की घोषणा की थी। मुख्यमंत्री की घोषणा के बाद प्रशासन, नगर निगम और जीडीए अधिकारी जमीन की तलाश में जुट गए थे। पहले मानसरोवर भवन के निर्माण कार्य के लिए अर्थला में दशमेश वाटिका में जमीन ली गई थी, लेकिन डूब क्षेत्र और तमाम विवादों को ध्यान में रखते हुए दूसरी जगह जमीन लेने का सिलसिला शुरू हुआ था। 2018 में सांसद जनरल वीके सिंह ने मानसरोवर भवन का इंदिरापुरम के शक्तिखंड में 14869 वर्ग मीटर जमीन पर विधिविधान से शिलान्यास किया गया था। 6 जून, 2018 को इसका निर्माण कार्य शुरू हुआ था।
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